दिल्ली सीएम ऑफिस के लेटरहेड से बनाए गए जाली पत्र, ईडब्ल्यूएस के तहत मुफ्त इलाज के नाम पर ठगी
नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस ने एक जालसाज को गिरफ्तार किया है, जो मुख्यमंत्री कार्यालय के आधिकारिक लेटर हेड का इस्तेमाल करके फर्जी पत्र तैयार करता था। पुलिस ने मुख्यमंत्री कार्यालय के लेटर हेड पर बनाए गए कई फर्जी पत्र भी बरामद किए हैं। दिल्ली पुलिस के अधिकारियों ने बताया कि यह आरोपी उन कमजोर लोगों को निशाना बनाता था, जो निजी अस्पताल में इलाज कराना चाहते थे, लेकिन इलाज का खर्च वहन नहीं कर पाते थे।
वह ऐसे लोगों को निजी अस्पताल के नाम पर ईडब्ल्यूएस श्रेणी के तहत मुफ्त इलाज के लिए पत्र देता था। पुलिस के अनुसार, आरोपी खुद को मुख्यमंत्री कार्यालय का अधिकारी भी बताता था और अस्पताल के अधिकारियों को फोन करने के लिए अपनी फर्जी पहचान का इस्तेमाल करता था। पुलिस जांच में यह भी खुलासा हुआ कि आरोपी अपनी मोटरसाइकिल पर फर्जी नंबर प्लेट लगाकर घूमता था। फिलहाल, पुलिस इस मामले में आगे की कार्रवाई में जुटी हुई है। वहीं, दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने नजफगढ़ में एक घोषित अपराधी को गिरफ्तार किया है।
अपराधी की पहचान नजफगढ़ की मकसूदाबाद कॉलोनी के रहने वाले 35 वर्षीय विपिन के रूप में की गई। इसी साल 17 मार्च को द्वारका की कोर्ट ने उसे अपराधी घोषित किया था। हालांकि, वह लगातार पुलिस की गिरफ्त से दूर रहा। दिल्ली पुलिस ने बताया कि 31 अक्टूबर को क्राइम ब्रांच को उसकी लोकेशन की जानकारी मिली। सूचना पर कार्रवाई करते हुए टीम ने नजफगढ़ के पास एक जाल बिछाया और आरोपी को पकड़ लिया।
लगातार पूछताछ के दौरान आरोपी ने नजफगढ़ थाने में अवैध अतिक्रमण और चोरी के मामले में अपनी संलिप्तता का खुलासा किया। 2014 में उसने अपने तीन साथियों के साथ मिलकर नजफगढ़ स्थित एक प्लॉट पर अवैध रूप से कब्जा कर लिया और उस प्लॉट से कुछ सामान भी चुरा लिया। इस मामले में जमानत पर रिहा होने के बाद, आरोपी छिप गया और गिरफ्तारी से बचने व कानूनी प्रक्रिया से बचने के लिए बार-बार अपना ठिकाना बदलता रहा।
