भोपाल। मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री व कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह की मुश्किल बढ़ सकती है, क्योंकि उनके खिलाफ भोपाल के जिला एवं सत्र न्यायालय ने मानहानि के मामले में आरोप तय कर दिए हैं। यह मानहानि का मामला भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष विष्णु दत्त शर्मा ने दर्ज कराया था।
पूर्व मुख्यमंत्री सिंह ने जुलाई 2014 को एक बयान दिया था, जिसमें तत्कालीन अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) के महामंत्री विष्णु दत्त शर्मा पर आरोप लगाया था कि उन्होंने आरएसएस और व्यापमं के बीच बिचौलिए की भूमिका निभाई थी। इसी को लेकर शर्मा ने प्रकरण दर्ज कराया था । सिंह पर धारा 500 के तहत प्रकरण दर्ज हुआ।
शर्मा ने अपनी शिकायत में कहा था कि सिंह ने इलेक्ट्रॉनिक एवं प्रिंट मीडिया के सामने उनके विरुद्ध आरोप लगाते हुए कहा था कि शर्मा एबीवीपी के महामंत्री रहे हैं, उनके द्वारा आरएसएस और व्यापमं के बीच में बिचौलिए का काम किया गया है, जिसका प्रकाशन समाचार पत्रों में हुआ था, जिसको आमजन द्वारा पढ़ा गया एवं आम जनता के बीच में उनकी उक्त आरोपों के कारण छवि धूमिल हुई थी।
भाजपा के मीडिया विभाग के प्रमुख लोकेंद्र पाराशर ने बताया है कि भोपाल जिला एवं सत्र न्यायालय भाजपा प्रदेश अध्यक्ष शर्मा द्वारा दायर किए गए मानहानि मुकदमे में दिग्विजय सिंह पर भारतीय दंड विधान की धारा 500 के आरोप अदालत में तय हो गए हैं।
उन्होंने बताया है कि दिग्विजय सिंह द्वारा शर्मा के ऊपर झूठे आरोप लगाए थे, जबकि शर्मा आज तक न तो किसी एजेंसी के सामने पूछताछ के लिए गए, न उनको कोई समन हुआ है और न ही उनका व्यापमं के मामले से कोई संबंध था।