मुंबई। शिवसेना-यूबीटी अध्यक्ष और महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने मंगलवार को राज्य सरकार को आगामी बृहन्मुंबई नगर निगम (बीएमसी) चुनाव ईवीएम के बजाय मतपत्र से कराने की चुनौती दी।
ठाकरे ने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि हाल ही में पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव में से तीन में भारतीय जनता पार्टी को सफलता मिली है।
उन्होंने चुनौती देते हुए कहा, “भाजपा को हाल ही में तीन राज्यों (मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़) में भारी जीत मिली है। लेकिन मेरी उन्हें चुनौती है कि आगामी बीएमसी चुनाव मतपत्र से कराएं।”
उन्होंने कहा, “अगर आपमें हिम्मत है, तो पहले बीएमसी चुनाव कराएं और वह चुनाव केवल बैलेट पेपर से कराएं और फिर परिणाम देखें।”
महा विकास अघाड़ी (एमवीए) के सहयोगी और विधानसभा में विपक्ष के नेता विजय वडेत्तीवार नगर निकाय चुनाव मतपत्र से कराने की ठाकरे की मांग के समर्थन में सामने आए।
कांग्रेस नेता ने आग्रह किया, “यहां तक कि जब ठाकरे भाजपा के साथ गठबंधन में थे, तब भी उन्होंने इसी तरह की मांग की थी, हालांकि उस समय यह मांग कांग्रेस के लिए थी। लेकिन अब मतपत्र प्रयोग किया जाना चाहिए।”
उन्होंने संदिग्ध ईवीएम छेड़छाड़ के कुछ कथित उदाहरणों की ओर इशारा किया और कहा कि “लोगों के मन में संदेह पैदा हो गया है।”
वडेत्तीवार ने कहा, “संयुक्त राज्य अमेरिका जैसे प्रमुख लोकतंत्रों ने भी ईवीएम को बंद कर दिया है…जनता के मन में भ्रम को दूर करें। यदि चुनाव वास्तव में ईमानदारी से हो रहे हैं तो एक बार मतपत्र से कराएं और लोगों के डर को दूर करें।”
ठाकरे ने धारावी पुनर्विकास परियोजना की स्थिति का विवरण भी मांगा, जिसे हाल ही में अदानी समूह को सौंपा गया है। पूर्व सीएम ने कहा कि धारावी के लोगों को उनके उद्योगों के साथ स्थानांतरित करने की जरूरत है और कहा कि उन्हें कम से कम 400-500 वर्ग फीट के घर दिए जाने चाहिए।
उन्होंने धारावी में कई झोपड़ियों को कथित तौर पर सुधार परियोजना में शामिल करने के लिए पात्रता के मुद्दों का सामना कर रहे लोगों के प्रति चिंता जताई। ठाकरे ने कहा कि शिवसेना-यूबीटी 16 दिसंबर को धारावी में लोगों की विभिन्न आशंकाओं पर जवाब मांगने के लिए विरोध मार्च निकालेगी।