लखनऊ। मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र के छह महीने के सेवा विस्तार पर केंद्र सरकार की मुहर लग ई है। रविवार को उनके सेवा विस्तार का आदेश जारी होने की उम्मीद है। लेकिन केंद्र सरकार की नियुक्ति समिति उनके सेवा काल को आगामी छह माह के लिए बढ़ा दिया है।
आपको बता दें कि यूपी के मुख्य सचिव, IAS अफसर दुर्गा शंकर मिश्रा का कार्यकाल 31 दिसंबर 2023 को ख़त्म हो रहा था। इससे एक दिन पहले 30 दिसंबर को मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र के सेवा विस्तार पर मुहर लगा दी गई है। इस संबंध में केंद्र सरकार की ओर से आदेश भी जारी कर दिया गया है। अब दुर्गा शंकर मिश्रा 30 जून 2024 तक यूपी के मुख्य सचिव बने रहेंगे। उनका रिटायरमेंट अप्रैल 2025 में है। दुर्गा शंकर मिश्रा के कार्यकाल के पूरे होने की तारीख जैसे जैसे नजदीक आ रही थी, वैसे-वैसे तमाम तरह की चर्चाएं चल रही थी। शनिवार को केंद्र की ओर से जारी आदेश के बाद दुर्गा शंकर मिश्रा को लगातार तीसरा सेवा विस्तार मिल गया है। वरिष्ठ आईएएस अफसर दुर्गा शंकर मिश्र को इससे पहले भी एक साल का सेवा विस्तार मिल चुका है। 1984 बैच के वरिष्ठ आईएएस अफसर दुर्गा शंकर मिश्रा को यूपी सरकार द्वारा 28 दिसंबर को केंद्र को भेजे गए प्रस्ताव के आधार पर केंद्रीय प्रतिनियुक्ति से यूपी के लिए कार्यमुक्त करने के साथ ही एक साल का सेवा विस्तार भी दिया गया था। इससे पहले दुर्गा शंकर मिश्रा केंद्र में आवासन और शहरी कार्य मंत्रालय में सचिव के पद पर तैनात थे। उन्होंने देशभर में मेट्रो रेल के साथ ही स्मार्ट सिटी, अमृत, स्वच्छ भारत मिशन, नमामि गंगे जैसी परियोजनाओं के लिए बेहतर काम किया। मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र के सेवा विस्तार के लिए अभी तक प्रदेश की सरकार ने केंद्र सरकार को कोई पत्र नहीं लिखा है। ऐसे में तरह-तरह की चर्चाएं हैं।
इनमें सबसे पहला नाम 1988 बैच की एक महिला अधिकारी, जो दिल्ली में केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर तैनात है, इन्हें यूपी के मुख्य सचिव की जिम्मेदारी सौंपने की चर्चा जोरों पर थी। मुख्य सचिव की रेस में 1988 बैच के आईएएस अफसर भी थे। जिसमें मौजूदा एपीसी और आईआईडीसी मनोज कुमार सिंह का नाम भी शामिल है। इसके अलावा केन्द्रीय प्रतिनियुक्ति पर दिल्ली में तैनात 1987 बैच के आईएएस अफसर अरूण सिंघल भी शामिल हैं। अरूण सिंघल दुर्गा शंकर मिश्र के बाद यूपी कैडर के सबसे सीनियर आईएएस अफसर हैं।