बागपत। बागपत में एक युवक छह साल की मासूम बच्ची को बहला-फुसलाकर अपने साथ सुनसान जगह पर ले गया। उसने बच्ची के कपड़े उतारकर उसके साथ गलत हरकत करने का प्रयास किया। अचानक से वहां बंदरों का झुंड एक-दूसरे से लड़ते झगड़ते हुए आ धमका। बंदरों को देखकर युवक डरकर वहां से भाग गया। लोगों ने कहा – ”हनुमानजी ने खुद बच्ची की रक्षा की है। बच्ची के घरवालों ने आरोपी के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है। पुलिस द्वारा सीसीटीवी फुटेज के आधार पर आरोपी की पहचान कर उसकी तलाश की जा रही है, जो अच्छी बात है। इस तरह के अपराधों के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई होना न केवल पीड़ित के लिए न्याय दिलाने का जरिया है, बल्कि समाज में ऐसे अपराधियों को एक कड़ा संदेश भी देता है। उम्मीद है कि पुलिस आरोपी को जल्द गिरफ्तार करेगी, और पीड़ित परिवार को न्याय मिलेगा।
डौला गांव में रहने वाले माता-पिता का दावा कि बंदरों के कारण बच्ची को उस भयावह स्थिति से बचाया जा सका, किस्मत की बात है। यह घटना हमें एक महत्वपूर्ण संदेश देती है कि बच्चों की सुरक्षा को लेकर कोई भी चूक नहीं होनी चाहिए। माता-पिता और समाज दोनों की जिम्मेदारी बनती है कि वे बच्चों पर नजर रखें और उन्हें ऐसे खतरों से बचाने के लिए सावधानी बरतें। पुलिस को चाहिए कि वह आरोपी को जल्द से जल्द गिरफ्तार करे और उसे सख्त सजा दिलाए, ताकि भविष्य में ऐसे अपराधों को रोका जा सके। साथ ही, परिवार और स्थानीय समुदाय के लिए यह समय बच्ची को भावनात्मक समर्थन और देखभाल प्रदान करने का है, ताकि वह इस हादसे से उबर सके।
पिता ने बताया कि मेरी बेटी बाहर खेल रही थी, तभी आरोपी उसे अपने साथ लेकर गया। पास के सीसीटीवी फुटेज में देखा जा सकता है कि वह व्यक्ति मेरी बेटी के साथ एक संकरी गली में चल रहा था। हालांकि उसकी पहचान अभी नहीं हो पाई है। उसने मेरी बच्ची को भी धमकाया कि वह उसे मार देगा। अगर बंदरों का झुंड वहां नहीं पहुंचता तो मेरी बेटी अब तक मर चुकी होती।
सीओ हरीश भदौरिया ने बताया कि पुलिस मामले की जांच कर रही है। हम आरोपी की पहचान करने और उसे पकड़ने की कोशिश कर रहे हैं।