कानपुर। मनरेगा श्रमिकों की लगभग चार करोड़ रुपये मजदूरी का भुगतान अब तक नहीं हो पाया है। जबकि सरकार ने सृजित किए गए 14 लाख मानव दिवस की मजदूरी 28 करोड़ का भुगतान कर दिया है। शेष बची हुई मजदूरी का भुगतान न होने की वजह से जनपद में चल रहे कार्यों की गति धीमी पड़ चुकी है। इस वर्ष कानपुर में श्रमिकों को काम कम मिलेगा। इससे उन्हें मजदूरी भी कम मिलेगी।
उपायुक्त मनरेगा सुधा शुक्ला ने बताया कि इस वर्ष सरकार ने मानव दिवस के लक्ष्य बीते वर्ष की अपेक्षा कटौती की है। हालांकि सरकार ने मनरेगा के मजदूरी में बढ़ोतरी की है।
उन्होंने बताया कि बीते वित्तीय वर्ष में जनपद में 12.70 लाख मानव दिवस सृजित करने का लक्ष्य था। हालांकि बाद में सरकार ने इसे बढ़ाते हुए 13.59 लाख कर दिया। जबकि लक्ष्य के सापेक्ष जिले में 14 लाख से अधिक मानव दिवस सृजित किए गए।
सरकार ने इस वर्ष के लक्ष्य में कटौती की है। हालांकि अधिकारियों को ऐसा विश्वास है कि इसे सरकार बढ़ा भी सकती है। मनरेगा श्रमिकों की मजदूरी का भुगतान न हो पाने की वजह से चल रहे निर्माण कार्यों की गति धीमी हो चुकी है।