मुजफ्फरनगर। जनपद की एक अदालत ने बिजनौर सदर सीट से विधायक रह चुके शाहनवाज राणा को एक मामले में बरी कर दिया है। 2012 विधानसभा चुनाव के दौरान शाहनवाज राणा की गाड़ी से 11800 रुपए के सिक्के पकड़े गए थे। उस समय शाहनवाज राणा भी गाड़ी में मौजूद थे। विधायक सहित गाड़ी चालक पर आदर्श चुनाव आचार संहिता का उल्लंघन सहित विभिन्न आरोपों में मुकदमा दर्ज किया गया था।
बिजनौर से विधायक रह चुके शाहनवाज राणा ने 2012 में भी चुनाव लड़ा था। शाहनवाज राणा 14 जनवरी 2012 को मुजफ्फरनगर से बिजनौर जा रहे थे। जानसठ के पास चेकिंग के दौरान शाहनवाज राणा की गाड़ी को रोक लिया गया था। थाना प्रभारी निरीक्षक जानसठ बुलाकीराम ने उन पर मुकदमा दर्ज कराया था कि गाड़ी में शामली के कच्ची गढ़ी निवासी ड्राइवर आलमगीर और बगल वाली सीट पर शाहनवाज राणा बैठे थे।
आरोप था कि चेकिंग के लिए रोके जाने पर उन्होंने हंगामा किया और पुलिस को धमकाया था। उसी दौरान शाहनवाज राणा मौके से चले गए थे। पुलिस ने इंडेवर गाड़ी की चेकिंग की तो सिक्को के 118 पैकेट बरामद हुए थे, जिनमें 11800 रुपए थे। पुलिस ने शाहनवाज राणा और उनके ड्राइवर पर आईपीसी की धारा 170सी, 186, 353, 504, 506 में मुकदमा दर्ज किया था।
मामले की सुनवाई विशेष एमपी एमएलए कोर्ट सिविल जज सीनियर डिवीजन मयंक जायसवाल ने की।इस मामले में अभियोजन शाहनवाज राणा पर आरोप साबित करने में नाकाम रहा। कोर्ट ने शाहनवाज राणा को साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया।