महानगरों में बढ़ती जनसंख्या के कारण इंसानों के लिए जगह की कमी रहती है तो ऐसे में हम पेड़ों को कहां लगाएं। यह एक बड़ा सवाल है, लेकिन यह काम मुश्किल भी नहीं है। यदि हमारे घर में बगीचा बनाने का स्पेस नहीं है तो हमें अपना बागवानी का शौक गमले में पौधे लगाकर पूरा करना चाहिए। अगर आप हरियाली से प्यार करते हैं तो क्यों न अपने आशियाने में ही इस हरियाली को महसूस करने के लिए गमलों में पौधे लगाने के साथ बागवानी की शुरुआत करें।
जगह का चुनाव- घर में गमले रखने के लिए सबसे पहले उपयुक्त जगह का चयन करना होता है। जहां पर पौधों को पर्याप्त मात्रा में सूर्य का प्रकाश, हवा व पानी मिल सके और हम आसानी से पौधों की देखरेख भी कर सकें। गमलों का चयन भी घर में उपलब्ध जगह के अनुसार करें। कहीं ऐसा न हो कि आप छोटे से स्पेस में बड़ा गमला रख दें और वह परिवार वालों के लिए मुसीबत बन जाए। घर में छत हो या फिर घर के आगे कुछ स्पेस हो तो वहां पर भी गमलों को सजाया जा सकता है और यदि छत के साथ ही घर के आगे जगह नहीं भी हो तो उदास होने की जरूरत नहीं है। ऐसे में हम हैंगिग गमलों का इस्तेमाल कर सकते हैं। आजकल शहरों में इनका काफी प्रचलन है। बालकनी या बरामदे में कड़े लगवाकर हैंगिग गमले लगाए जा सकते हैं। हैंगिग गमलों से नीचे की ओर आती हुई बेलें बहुत ही सुंदर लगती हैं और अनायास ही लोगों को अपनी ओर आकर्षित करती हैं। कम जगह में अधिक गमले रखने के लिए आजकल बाजार में लोहे के स्टैंड भी उपलब्ध हैं। उनमें एक ही जगह पर आप कई गमले रख सकते हैं। हां स्टैंड में पौधे लगाते समय ध्यान रखें कि लटकने वाले पौधों को ऊपर की तरफ रखें, जबकि घने पौधों को नीचे की ओर।
ड्राइंग रुम- यदि ड्राइंग रूम में भी गमले रखकर हरियाली का आनंद उठाना चाहते हैं तो ड्राइंग रूम में गमले रखने के लिए अपनी क्रिएटीविटी को थोड़ा और पैना करना पड़ेगा। सबसे पहले सोच-विचार करें कि ड्राइंगरूम के किस कोने में कौन-सा पौधा ज्यादा सुंदर लगेगा। जैसे किसी एक कोने में थोड़ा बड़ा गमला रखकर पॉम का पौधा रख सकते हैं।
रात में मद्धिम रोशनी में पॉम के पत्ते काफी सुंदर लगते हैं। इसके अलावा चाहें तो कम स्पेस में मनीप्लांट की बेल को दीवार पर चढ़ाकर ड्राइंग रूम की खूबसूरती में चार चांद लगा सकते हैं। ड्राइंगरूम में रखे गमलों को अनोखा लुक देने के लिए इन्हें पीतल के बर्तन में ही रखना चाहिए। इससे पौधे की खूबसूरती तो बढ़ेगी ही साथ ही गमलों के कारण फर्श भी गंदा होने से बच सकता है। आजकल बोनसाई का भी खूब फैशन है। बड़े-बड़े पेड़ों को छोटा रूप देकर बोनसाई बनाना अनूठी कला है। बरगद, पीपल, रबर प्लांट जैसे विशाल वृक्षों की बोनसाई बनाकर घर में सजा सकते हैं।
गमलों का उपयोग पौधों के अनुरूप- शेप एंड साइज के आधार पर बाजार में कई तरह के गमले उपलब्ध हैं। पौधों की साइज और उसकी खूबसूरती के हिसाब से विभिन्न पौधों के लिए अलग-अलग तरह के गमलों का उपयोग कर सकते हैं। जैसे छोटे पौधों के लिए मिट्टी के गोलाकार अथवा चौकोर आकार के छोटे गमलों का चुनाव करें, जबकि बोनसाई या पॉम आदि के पौधों को सीमेंट के बड़े गमलों में लगा सकती हैं। इसके अलावा मार्केट में नाव, मछली, एरोप्लेन आदि की आकृति के बड़े गमले भी मिलते हैं। घर की छत पर, दीवार की साइड में या टेरिस पर इन गमलों को रखा जा सकता है। इनमें अलग-अलग तरह के पौधों को रोपकर न केवल जगह की कमी को पूरा किया जा सकता है, बल्कि अपनी विशिष्ट आकृति के कारण यह हमारी छत को और भी खूबसूरत बनाते है।
चित्रकारी का भी प्रदर्शन- वैसे तो बाजार में गमलों की भी कई डिजाइन मिलती हैं, लेकिन इनको एक अलग स्टाइल देने के लिए हम चित्रकारी भी कर सकते हैं। गमलों को गेरुए रंग से रंगकर उन पर अपनी चित्रकारी का पूरा प्रदर्शन कर सकते हैं। ऐसा करने से देखने वालों की नजर पौधों के साथ-साथ रंग-बिरंगे गमले पर भी जाएगी। तो लीजिए, हो गया हमारी क्रिएटीविटी का प्रदर्शन और साथ ही पौधों की प्रशंसा के साथ मिल गई हमें भी ढेरों सारी तारीफ। इस तरह से हम अपने घर एवं छत में तथा ड्राइंगरूम में गमलों का प्रयोग कर सकते हैं।
निर्मला – विभूति फीचर्स