मुजफ्फरनगर। थाना चरथावल क्षेत्र के गांव न्यामू में सड़क की जमीन का खेती में बैनामा कर दिया गया। यही नहीं चकबंदी के अधिकारियों ने भी जमीन को खेती में ही दर्ज कर दिया। किसान अब सड़क को अपनी बताते हुए हाईकोर्ट पहुंच गया। हाईकोर्ट ने जिला प्रशासन से रिपोर्ट मांगी, तो जिलाधिकारी अरविंद मलप्पा बंगारी ने एडीएम प्रशासन की अध्यक्षता में जांच टीम गठित कर दी है।
आरोप है कि चरथावल क्षेत्र के गांव न्यामू में 2012 में किसान ने अपनी जमीन के साथ सड़क की जमीन का बैनामा भी कर दिया। इसके बाद यह जमीन बैनामे से ही दूसरे और फिर तीसरे किसान के नाम हो गई। बाद में गांव में चकबंदी हुई तो चकबंदी के अधिकारियों ने जमीन को सड़क की जगह खेत में ही तब्दील कर दिया। लगभग चार बीघा जमीन है।
कागजों में खेत रहे और मौके पर लोनिवि की सड़क चल रही है। सड़क बंद कर जमीन पर कब्जे की मांग को लेकर प्रमोद हाईकोर्ट चला गया और अपने बैनामे के कागज प्रस्तुत किए। हाईकोर्ट ने डीएम से इस संबंध में रिपोर्ट तलब की।
डीएम अरविंद मल्लप्पा बंगारी ने मामले की संवेदनशीलता को देखते हुए एडीएम वित्त गजेंद्र कुमार की अध्यक्षता में एक समिति गठित की है। इस समिति में उप जिलाधिकारी सदर परमानंद झा, तहसीलदार सदर, चकबंदी अधिकारी, लोनिवि के अधिकारी शामिल किए गए हैं। टीम रिकॉर्ड निकालकर पूरे मामले की जांच कर रही है। एसडीएम सदर परमानंद झा ने बताया कि जल्द ही डीएम को जांच रिपोर्ट दी जाएगी।