गाजियाबाद। अब गाजियाबाद में पीड़ितों को अपनी FIR की कॉपी लेने के लिए थानों के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। कमिश्नरेट गाजियाबाद पुलिस ने जनता-केन्द्रित (Citizen Centric) पुलिसिंग की दिशा में एक सराहनीय पहल शुरू की है। पुलिस आयुक्त गाजियाबाद के निर्देश पर अब जिले के सभी थानों में दर्ज की गई एफआईआर की प्रति संबंधित पुलिसकर्मी द्वारा वादी के घर जाकर उपलब्ध कराई जाएगी।
यह सुविधा पीड़ितों की सहूलियत को ध्यान में रखते हुए शुरू की गई है। कमिश्नरेट गाजियाबाद में प्रतिदिन दर्ज होने वाले मुकदमों की एफआईआर की प्रति अब वादी को उनके घर जाकर सौंपी जाएगी।
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थाना लिंक रोड क्षेत्र के सूर्य नगर निवासी चेतना मित्तल ने बताया कि दो दिन पहले उन्होंने अपने घर का एयर कंडीशनर ठीक कराने के लिए एक मैकेनिक को बुलाया था। मैकेनिक ने मरम्मत के बहाने उन्हें बातों में उलझाए रखा — कभी पानी मांगा, कभी अन्य चीजें। इस दौरान वह कमरे के उस अलमारी तक पहुंच गया जहां उनकी सोने की ज्वेलरी रखी थी, और वहीं से ज्वेलरी चोरी करके फरार हो गया।
जब चेतना मित्तल को इस घटना की जानकारी हुई, तो उन्होंने तुरंत थाना लिंक रोड पुलिस को इसकी सूचना दी और एक तहरीर सौंपी। पुलिस ने उसी के आधार पर मुकदमा दर्ज किया और FIR की कॉपी चेतना मित्तल के घर जाकर उन्हें सौंपी।
गाजियाबाद पुलिस कमिश्नरेट द्वारा शुरू की गई इस पहल की चेतना मित्तल ने सराहना करते हुए कहा कि इससे आम जनता को बड़ी राहत मिलेगी।
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इस बाबत गाजियाबाद के पुलिस आयुक्त डीपी निमिष पाटिल ने जानकारी दी कि— “अब जिले के सभी थानों को निर्देश दे दिए गए हैं कि वादी को अपनी FIR की प्रति लेने के लिए थाने के चक्कर न काटने पड़ें। जैसे ही मुकदमा दर्ज होता है, उसकी प्रति संबंधित पुलिसकर्मी वादी के पते पर जाकर उन्हें सौंपेगा।”