मुजफ्फरनगर। कचहरी परिसर में आज उस समय हंगामा मच गया, जब सादी वर्दी में आयी हरियाणा एसओजी की टीम ने एक महिला अधिवक्ता के चैम्बर से एक वांछित को जबरन उठा लिया और उसे गाडी में डालने लगे। विरोध करने पर एक युवक ने पिस्टल निकाल ली और उसे लहराने लगा, जिस पर वहां बडी संख्या पर वकील इकट्ठा हो गए और धक्कमुक्की के बाद उक्त लोगों को बंधक बना लिया। लिखित माफी के बाद सभी को छोडा गया। इस दौरान घंटों तक कचहरी में हंगामा होता रहा।
जानकारी के अनुसार आज दोपहर के समय कचहरी परिसर में उस समय हंगामा खडा हो गया, जब कुछ लोग एक महिला अधिवक्ता के चैम्बर पर पहुंचे और वहां मौजूद एक व्यक्ति को जबरन उठाकर गाडी में डाल लिया। वहां मौजूद वकीलों व अन्य लोगों ने उनका विरोध किया।
इस दौरान धक्कामुक्की होने लगी तो उनमें से एक युवक ने पिस्टल निकाल ली और उसे लहराने लगा। इस दौरान शोर शराबा होने पर वहां बडी संख्या में वकील पहुंच गये और उक्त लोगों को पकड कर बार संघ के ऑफिस में ले आये।
पूछताछ करने पर पता चला कि उक्त लोग हरियाणा के रेवाडी जिले की एसओजी टीम है, जो सादी वर्दी में एक वांछित अपराधी को पकडने के लिए आयी थी। इस मामले की जानकारी मिलते ही सीओ सिटी भी तीनों थानों की फोर्स के साथ
कचहरी पहुंचे और आक्रोशित अधिवक्ताओं को समझाने का प्रयास किया, लेकिन उक्त लोगों की हरकत को नाकाबिले बर्दाश्त बताते हुए अधिवक्ता कडी कार्यवाही पर अडे रहे।
काफी देर की जद्दोजहद के बाद आखिरकार एसओजी टीम ने लिखित में माफी मांगी और भविष्य में इस तरह की हरकत न करने का भी आश्वासन दिया।
जिलाबार संघ के अध्यक्ष प्रमोद त्यागी ने बताया कि आज हरियाणा के रेवाडी की एसओजी टीम कचहरी में एक युवक को अधिवक्ता के चैम्बर से उठाने पहुंची थी, जो 42०, 467 की धारा में वांछित है। उक्त एसओजी टीम ने जनपद में आमद कराने के दौरान न तो इस संबंध में एसएसपी को सूचित किया और न ही थाना सिविल लाईन को भी सूचना दी, जबकि ऐसा करना जरूरी था।
सीओ सिटी व्योम बिंदल की मौजूदगी में एसओजी टीम ने लिखित माफी मांगी, जिसके बाद इस मामले का निपटारा हो गया।