नयी दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने राष्ट्रीय राजधानी प्रक्षेत्र (एनसीआर) में वायु प्रदूषण से निपटने के लिए लागू प्रतिबंधों में ढील देने से इनकार करते हुए सोमवार को कहा कि संबंधित आंकड़ों की समीक्षा के बाद वह 05 दिसंबर को किसी प्रकार की छूट देने पर विचार करेगा।
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न्यायमूर्ति अभय एस ओका और न्यायमूर्ति ऑगस्टीन जॉर्ज मसीह की पीठ ने वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीएक्यूएम) की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल ऐश्वर्या भाटी की ढील देने की गुहार अस्वीकार करते हुए कहा कि वायु प्रदूषण से निपटने के लिए दिल्ली में लगाए गए ग्रेडेड एक्शन रिस्पांस प्लान (जीआरएपी) स्टेज-4 के तहत तमाम प्रतिबंध लागू रहेंगे।
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पीठ ने अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल की मांग खारिज करते हुए कहा, “वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) स्थिर नहीं है। इसमें वृद्धि हुई है। हम आपके सुझावों पर गौर करेंगे, लेकिन आज हम ढील देने की अनुमति नहीं दे सकते।”
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शीर्ष अदालत ने कहा कि वह वायु गुणवत्ता सूचकांक में गिरावट के रुझानों का विश्लेषण करने के बाद सीएक्यूएम द्वारा प्रस्तावित ढील पर गुरुवार को कोई फैसला लेगी।