Friday, November 22, 2024

तेजस्वी यादव बोले-शराबबंदी नीतीश के संस्थागत भ्रष्टाचार का नमूना, भाजपा ने किया पलटवार

पटना। बिहार में जहरीली शराब मामले को लेकर विपक्ष लगातार नीतीश सरकार पर हमलावर है। राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) नेता तेजस्वी यादव ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर वार करते हुए कहा कि सत्ताधारी नेताओं, पुलिस और शराब माफिया के नापाक गठजोड़ के कारण राज्य में 30 हजार करोड़ से अधिक अवैध शराब का काला बाजार फला-फूला है। वहीं, भाजपा के वरिष्ठ नेता रविशंकर प्रसाद ने तेजस्वी के इस बयान पर अपनी प्रतिक्रिया दी है।

 

 

 

भाजपा नेता रविशंकर प्रसाद ने कहा कि तेजस्वी यादव तो रोज सवाल करते हैं। उनके पिताजी-माता जी के समय में क्या होता था। बिहार का हाल उनको तो पता है ना। रविशंकर ने कहा कि यह घटना बहुत दुखद है। मुख्यमंत्री ने डीजीपी को निर्देश दिए है, पूरी कमेटी बनी है। जिन्होंने भी ये काम किया है उनको सजा मिलेगी, ऐसा मुझे पूरा विश्वास है। शराबबंदी को प्रभावी रूप से लागू किया जाए। लोग इसका फायदा नहीं उठाएं। इसके लिए प्रशासन को और सजग रहने की जरूरत है। इससे पहले तेजस्वी यादव ने कहा कि शराबबंदी नीतीश कुमार के संस्थागत भ्रष्टाचार का एक छोटा सा नमूना है।

 

 

 

अगर शराबबंदी हुई है तो इसे पूर्ण रूप से लागू करना सरकार का दायित्व है। लेकिन, मुख्यमंत्री की वैचारिक और नीतिगत अस्पष्टता, कमजोर इच्छाशक्ति तथा जनप्रतिनिधियों की बजाय चुनिंदा अधिकारियों पर निर्भरता के कारण आज बिहार में शराबबंदी सुपर फ्लॉप है। उन्होंने कहा कि सत्ताधारी नेताओं-पुलिस और शराब माफिया के नापाक गठजोड़ के कारण बिहार में 30 हजार करोड़ से अधिक अवैध शराब का काला बाजार फला-फूला है। इस मामले को लेकर तेजस्वी ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से 12 सवाल भी पूछे और कहा कि वे इन सवालों का जवाब दें। उन्होंने पूछा है कि अगर प्रतिवर्ष इतनी बड़ी मात्रा में शराब बरामद हो रही, तो उसके दोषी कौन है?

 

 

 

सरकारी फाइलों के अनुसार अवैध शराब से मरने वालों की संख्या 300 से अधिक है, लेकिन हकीकत इससे विपरीत है, अब तक हजारों लोगों की अवैध शराब के कारण मौत नहीं, बल्कि हत्या हुई है। इनका हत्यारा कौन और दोषी कौन? दोषियों पर क्या कार्रवाई हुई? उन्होंने आगे पूछा है कि क्या अब तक किसी बड़े पुलिस अधिकारी, पुलिस अधीक्षक पर कभी कोई कार्रवाई हुई? सवालिया लहजे में तेजस्वी यादव ने आगे पूछा कि अगर पटना में शराब मिलती है तो उसका मतलब है पांच -छह जिला पार कर यहां तक शराब पहुंची है, तो फिर यह उन सभी जिलों की पुलिस की नाकामी है या नहीं?

 

 

 

उन्होंने यह भी प्रश्न किया है कि क्या यह सही नहीं है कि बिहार में शराबबंदी के बाद से अगस्त 2024 तक मद्यनिषेध विभाग की ओर से निषेध कानूनों के उल्लंघन से संबंधित कुल 8.43 लाख मामले दर्ज किए गए हैं, जिनमें कुल 12.7 लाख लोगों को अब तक गिरफ्तार किया गया है। मुख्यमंत्री बताएं कि गिरफ्तार लोगों में अधिकांश गरीब और वंचित वर्गों से ही क्यों है? प्रतिदिन पुलिस और उत्पाद विभाग की ओर से करीब 6,600 छापेमारी होती है उसके बावजूद भी शराब की अवैध तस्करी जारी है तो इसका दोषी कौन है?

- Advertisement -

Royal Bulletin के साथ जुड़ने के लिए अभी Like, Follow और Subscribe करें |

 

Related Articles

STAY CONNECTED

74,306FansLike
5,466FollowersFollow
131,499SubscribersSubscribe

ताज़ा समाचार

सर्वाधिक लोकप्रिय