Friday, December 27, 2024

हिंदुस्तान का ‘एक्स-रे’ कराने की जरूरत, पता चलना चाहिए कौन सी जाति की संख्या कितनी : राहुल

कालापीपल (शाजापुर)। देश के पांच राज्यों में आने वाले विधानसभा चुनाव के पूर्व कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी ने आज एक बार फिर जातिगत जनगणना का मुद्दा उठाते हुए कहा कि देश में कौन सी जाति कितनी संख्या में है, ये सामने लाने के लिए देश के ‘एक्स-रे’ की जरूरत है और कांग्रेस की सरकार बनने पर जातिगत जनगणना कराई जाएगी।

मध्यप्रदेश के शाजापुर जिले के कालापीपल में प्रदेश कांग्रेस की ओर से निकाली जा रही ‘जन आक्रोश यात्रा’ को संबोधित करते हुए गांधी ने अपनी बात के समर्थन में पार्टी की प्रदेश इकाई के अध्यक्ष कमलनाथ का संदर्भ दिया। उन्होंने कहा कि पिछले दिनों कमलनाथ को चोट लग गई, जिसके बाद वे जैसे ही अस्पताल पहुंचे, डॉक्टरों ने सबसे पहले उनका एक्स-रे कराया, उसके बाद आगे की समस्या बताई। इसी क्रम में उन्होंने कहा कि जिस प्रकार कमलनाथ का सबसे पहले एक्स-रे किया गया, उसी प्रकार देश का भी अब एक्स-रे कराने की जरूरत आन पड़ी है। उन्होंने कहा कि जातिगत जनगणना देश के सामने आज सबसे बड़ा मुद्दा है।

कांग्रेस की इस जनाक्रोश यात्रा सभा के दौरान प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ, पार्टी महासचिव और प्रदेश प्रभारी रणदीप सुरजेवाला, पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह, विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष डॉ गोविंद सिंह समेत पार्टी के कई अन्य वरिष्ठ नेता उपस्थित थे।

अपना पुराना आरोप दोहराते हुए गांधी ने आज एक बार फिर कहा कि देश को 90 आला अधिकारी चलाते हैं, जिनमें से मात्र तीन अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) से आते हैं। इन तीन अधिकारियों की बजट खर्च में भागीदारी भी मात्र पांच फीसदी है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि मान लीजिए कि अगर देश में ओबीसी वर्ग की आबादी लगभग 50 फीसदी है तो उनका मात्र पांच फीसदी बजट खर्च पर ही नियंत्रण क्यों है।

महिला आरक्षण के संदर्भ में गांधी ने कहा कि कांग्रेस इसके समर्थन में है, लेकिन कांग्रेस ने इसमें ओबीसी आरक्षण के बारे मेें पूछा, जिसका कोई जवाब नहीं दे रहा। उन्होंने दावा किया कि कांग्रेस के तीन मुख्यमंत्री ओबीसी वर्ग से आते हैं, लेकिन भाजपा ने ओबीसी वर्ग के जिन लोगों को विधायक या सांसद बनाया है, उन्हें भी बोलने नहीं दिया जाता।

अपने लगभग 25 मिनट के संबोधन में गांधी ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ को भी निशाने पर लिया। उन्होंने कहा कि ओबीसी वर्ग के विधायक और सांसदों से पूछें कि कानून बनाने से पूर्व क्या उनका विचार लिया जाता है। वास्तविकता ये है कि कानून आरएसएस वाले और देश के चुनिंदा अधिकारी बनाते हैं।

उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने जो जातिगत जनगणना कराई थी, उसके आंकड़े केंद्र सरकार के पास हैं, लेकिन सरकार वो आंकड़े देश के सामने रखना नहीं चाहती।

- Advertisement -

Royal Bulletin के साथ जुड़ने के लिए अभी Like, Follow और Subscribe करें |

 

Related Articles

STAY CONNECTED

74,303FansLike
5,477FollowersFollow
135,704SubscribersSubscribe

ताज़ा समाचार

सर्वाधिक लोकप्रिय