Thursday, February 6, 2025

महाकुंभ में मास्टर विजय सिंह करेंगे 9 दिनों का कल्पवास, आत्मशुद्धि और आत्मशक्ति का लेंगे संकल्प

मुजफ्फरनगर: भ्रष्टाचार और भूमाफियाओं के खिलाफ पिछले 29 वर्षों से अनवरत सत्याग्रह कर रहे मास्टर विजय सिंह प्रयागराज महाकुंभ में आत्मशुद्धि और आत्मशक्ति के लिए 9 दिनों का कल्पवास करेंगे। इस दौरान वे साधना, पूजा-अर्चना और ध्यान में लीन रहेंगे। भारतीय अखाड़ा परिषद की धर्म संसद में महामंडलेश्वरों और साधु-संतों से भेंट कर वे भ्रष्टाचार, भूमाफिया, रिश्वतखोरी और अन्य सामाजिक बुराइयों के उन्मूलन के लिए दिशा-निर्देश पारित करने की अपील करेंगे।

मास्टर विजय सिंह ने कहा कि महाकुंभ का पवित्र स्नान आत्मशुद्धि और भीतर की बुराइयों को समाप्त करने का प्रतीक है। वे इस दौरान ईश्वर और मां गंगा की आराधना करेंगे, तीन दिन पूर्ण मौन व्रत रखेंगे और प्रतिदिन तीन बार संगम में स्नान करेंगे। वे केवल एक समय भोजन करेंगे और साधु-संतों के प्रवचन सुनकर आत्मिक ऊर्जा प्राप्त करेंगे।

 

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मास्टर विजय सिंह पिछले 30 वर्षों से भ्रष्टाचार और भूमाफियाओं के खिलाफ गांधीवादी सत्याग्रह कर रहे हैं। उन्होंने अपनी अध्यापक की नौकरी से त्यागपत्र देकर सबसे पहले अपने गाँव चौसाना (जनपद शामली) की 4,000 बीघा सार्वजनिक भूमि पर हुए घोटाले का खुलासा किया था। उनका मानना है कि मुजफ्फरनगर और शामली जिलों में लगभग 6 लाख बीघा सार्वजनिक भूमि (तालाब, झील, वन और ग्राम सभा की भूमि) पर अवैध कब्जे हैं। इन भूमियों को मुक्त कराकर जनहित में उपयोग के लिए वे 24 घंटे धरने पर रहकर संघर्ष कर रहे हैं।

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मास्टर विजय सिंह का यह आंदोलन देश और दुनिया का सबसे लंबा सत्याग्रह घोषित हो चुका है। इसे लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स, एशिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स, इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स, मीरा सैल्स ऑफ द वर्ल्ड रिकॉर्ड्स और यूनिक वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में दर्ज किया गया है।

महाकुंभ में वे ईश्वर और मां गंगा से प्रार्थना करेंगे कि देश में भ्रष्टाचार, माफियागिरी, रिश्वतखोरी और कमीशनखोरी जैसी बुराइयां समाप्त हों। सार्वजनिक पदों पर बैठे अधिकारी, नेता और ठेकेदार ईमानदार बनें, अपने कार्यों में नैतिकता और पारदर्शिता लाएं। उन्होंने सभी से आह्वान किया कि हम सात्विक और ईमानदार बनें, धर्म और राष्ट्रधर्म का पालन करें और देश को भ्रष्टाचार मुक्त बनाने का संकल्प लें। तभी महाकुंभ का स्नान सार्थक होगा।

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