लखनऊ- बहुजन समाज पार्टी (बसपा) नेता आकाश आंनद को पार्टी से बाहर निकालने, फिर उन्हें वापस लाने को लेकर विपक्षी दलों ने बसपा प्रमुख मायावती को घेरा है। इसकाे लेकर बसपा प्रमुख ने पलटवार करते हुए सोमवार को अपनी प्रतिक्रिया देते हुए सोशल एक्स पर चार पोस्ट किए । उन्होंने पोस्ट के जरिए भाजपा, सपा समेत अन्य विरोधियों पर पार्टियों पर निशाना साधा है।
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पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने पोस्ट में लिखा कि डा. भीमराव आंबेडकर के आत्म-सम्मान व स्वाभिमान के कारवां को सत्ता की मंज़िल तक पहुंचाने के लिए मिशन जारी है। इस कार्य में लगे बसपा में कार्यरत लोगों के आने-जाने में कुछ भी निजी नहीं, बल्कि यह पार्टी व मूवमेन्ट के हित पर पूर्णतः निर्भर है। कुछ लोग विरोधी पार्टियों के बहकावे में आकर अपनी ही पार्टी को कमजोर करने में लग जाते हैं। पार्टी में अनुशासनहीनता अपनाने व परिपक्वता के साथ कार्य ना करने के कारण तब उन्हें मजबूरी में पार्टी हित में निकालना पड़ता है।
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उन्होंने कहा कि जब कार्यकर्ता को अपनी गलती का अहसास हो जाता है और माफी मांग लेता है तो उन्हें पार्टी में वापस ले लिया जाता है। वहीं कांग्रेस, बीजेपी व अन्य विरोधी पार्टियाँ इसे आया राम व गया राम की संज्ञा देकर, पार्टी की छवि को धूमिल करने की पूरी-पूरी कोशिश करती हैं। जब यही कार्य विरोधी पार्टियां करती हैं, तब उसे वे पार्टी हित का मामला कहकर टाल देती हैं। लेकिन बीएसपी के मामले में ये पार्टियां इसी तरह की संज्ञा देकर बसपा की छवि को खराब करने की कोशिश करती हैं। यह सब इनका दोहरा मापदण्ड नहीं है तो और क्या है? पार्टी के लोगों को इनसे सतर्क रहना चाहिए।