गाजियाबाद। गाजियाबाद में एक अजीबोगरीब मामला सामने आया है। जहां पर एक निजी कॉलेज के प्रिंसिपल ने कॉलेज में छात्रों के प्रवेश पर महज इसलिए रोक लगा दी क्योंकि उन्होंने अपने माथे पर टीका लगाया हुआ था। प्रिंसिपल बाकायदा गेट के बाहर खड़े हो गए और जब छात्र कॉलेज के अंदर प्रवेश कर रहे थे उन छात्रों में जिसके माथे पर भी टीका लगा था उसे बाहर निकाल दिया गया।
प्रिंसिपल पर यह भी आरोप लगाया जा रहा है कि उन्होंने बच्चों से कहा कि पत्थर को आप भगवान मानते हैं वह पत्थर ही है भगवान नहीं। इसकी जानकारी जैसे ही हिंदू रक्षा दल के लोगों को मिली तो हिंदू रक्षा दल के कार्यकर्ता मौके पर पहुंचे। इसी दौरान प्रिंसिपल की तरफ से पुलिस भी बुलाई गई और प्रिंसिपल को पुलिस और हिंदू रक्षा दल के कार्यकर्ताओं के सामने बैकफुट पर आना पड़ा और हाथ जोड़कर माफी मांगनी पड़ी।
हिंदू रक्षा दल के महानगर महामंत्री मनोज हिंदू ने बताया कि गाजियाबाद के थाना कवि नगर इलाके में ईनग्राहम इंडस्ट्रियल ट्रेनिंग इंस्टिट्यूट है। जहां पर सभी धर्म से जुड़े छात्र शिक्षा ग्रहण करते हैं। मंगलवार को जो छात्र कॉलेज में पहुंचे तो कॉलेज के प्रिंसिपल गेट के बाहर ही खड़े हो गए और जिन छात्रों के माथे पर टीका लगा हुआ था उन्हें कॉलेज में प्रवेश करने से रोक दिया गया। जिन छात्रों ने अपने माथे का टिका हटाया तो उन्हें अंदर प्रवेश करने दिया गया और जिन छात्रों ने माथे से टीका नहीं हटाया तो उन्हें कॉलेज में आने की इजाजत नहीं दी गई।
मनोज हिंदू ने बताया कि उन्हें इस तरह की जानकारी मिली तो वह अपने कार्यकर्ताओं के साथ कॉलेज पर पहुंचे और प्रिंसिपल से मुलाकात की। आरोप है कि प्रिंसिपल ने छात्रों से यहां तक कहा कि जिस भगवान को आप पूछते हो वह पत्थर है। इस बात से हर हिंदू की भावनाओं को ठेस पहुंची है। इसलिए वह अपने अन्य कार्यकर्ताओं के साथ कॉलेज पहुंचे और प्रिंसिपल से मुलाकात की लेकिन जब सारी सच्चाई सामने आई तो प्रिंसिपल को बैकफुट पर आना पड़ा और सभी के सामने उन्होंने हाथ जोड़कर माफी मांगनी पड़ी। हिंदू रक्षा दल के कार्यकर्ताओं का कहना है कि इस तरह की हरकत किसी भी रूप में बर्दाश्त नहीं की जाएगी।