मीरापुर। क्षेत्र के ग्राम मुझेडा सादात में बाईपास के निकट प्रशासन द्वारा सरकारी चकरोड को कब्जा मुक्त कराया गया। इस दौरान रास्ते में आने वाले पेड़ों को हटाने और भूमि को समतल करने के लिए बुलडोजर चलाया गया। तहसीलदार जानसठ सतीश चंद्र बघेल ने बताया कि ग्राम मुझेडा सादात में बाईपास के पास स्थित खसरा नंबर 1008, 1030 और 1031 पर सरकारी चकरोड अभिलेखों में दर्ज है। लेकिन कुछ किसानों ने इस सरकारी भूमि पर अवैध कब्जा कर रखा था। कुछ किसानों ने इस चकरोड पर पेड़ लगा दिए थे, जबकि कुछ लोगों ने इसे अपने निजी प्लॉट में शामिल कर लिया था। इस अवैध कब्जे की जानकारी प्रशासन को तब मिली जब कुछ किसानों ने प्रार्थना पत्र देकर इस सरकारी चकरोड को कब्जा मुक्त करने की मांग की। उनकी शिकायत पर संज्ञान लेते हुए प्रशासन ने आवश्यक कार्रवाई की और लगभग 250 मीटर सरकारी चकरोड को अवैध कब्जे से मुक्त कराया गया।
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प्रशासन की इस कार्रवाई के दौरान बुलडोजर की सहायता से सैकड़ों पेड़ उखाड़े गए और रास्ते को पूरी तरह से समतल किया गया, जिससे यह मार्ग पूरी तरह से सुगम हो गया। तहसीलदार ने बताया कि इस चकरोड को कब्जा मुक्त करने से क्षेत्र के करीब तीस से अधिक किसानों को अपने खेतों तक जाने में सुविधा मिलेगी। अब यह रास्ता दिल्ली-पौड़ी राजमार्ग को पानीपत-खटीमा राजमार्ग से जोड़ेगा, जिससे आवागमन आसान होगा और लोगों को किसी भी प्रकार की परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा।
इस कार्रवाई के दौरान तहसीलदार जानसठ सतीश चंद्र बघेल, कानूनगो संजीव शर्मा और हल्का लेखपाल ओमवीर सिंह मौके पर मौजूद रहे। अधिकारियों ने बताया कि भविष्य में इस तरह के अवैध कब्जों को लेकर सख्त कार्रवाई की जाएगी, ताकि सरकारी भूमि का सही उपयोग हो सके और आम लोगों को किसी भी प्रकार की असुविधा न हो। प्रशासन ने यह भी स्पष्ट किया कि यदि भविष्य में किसी ने सरकारी भूमि पर अवैध कब्जा करने का प्रयास किया, तो उसके खिलाफ कठोर कानूनी कार्रवाई की जाएगी। इस कार्रवाई से स्थानीय किसानों और ग्रामीणों ने राहत की सांस ली और प्रशासन के इस कदम का स्वागत किया।