मुजफ्फरनगर। सीकरी के पूर्व प्रधान अम्मार हत्याकांड में कोर्ट ने सात आरोपियों को दोषी करार देते हुए आजीवन कारावास की सजा सुनाई है और जुर्माना भी लगाया है। पुलिस द्वारा साक्ष्य संकलन करते हुए गुणवत्तापूर्ण विवेचना सम्पादित करने तथा अभियोजन की सशक्त पैरवी के तहत न्यायालय ने सजा सुनाई।
वादी द्वारा थाना कोतवाली नगर पुलिस को तहरीर देते हुए अवगत कराया गया था कि अज्ञात अभियुक्तों द्वारा उनपर व उनके गांव सीकरी थाना भोपा के ही रहने वाले मौहम्मद अम्मार पर जान से मारने की नीयत से फायर किया, जिसमें पूर्व प्रधान मौहम्मद अम्मार की मृत्यु हो गयी थी।
तहरीर के आधार पर थाना कोतवाली नगर पुलिस द्वारा तत्काल सुसंगत धाराओं में अभियोग पंजीकृत किया गया तथा अभियुक्तो दिलशाद पुत्र इशरत निवासी सीकरी थाना भोपा, संदीप पुत्र श्याम सिंह निवासी कंजरहेडी थाना बाबरी, शामली, बिजेन्द्र उर्फ गोरी पुत्र श्यामा निवासी दौलतपुर थाना सिखेडा, राहुल उर्फ कपिल उर्फ फोजी पुत्र सुरेन्द्र निवासी भनेडा जट थाना बाबरी शामली, आमिर पुत्र जफरबाद निवासी चूडियाला थाना मीरापुर, जमशेद पुत्र इशरत निवासी सीकरी थाना भोपा, श्रीमती पूजा पत्नी संदीप निवासी कजरहेडी थाना बाबरी, शामली प्रकाश में आये। थाना कोतवाली नगर पुलिस द्वारा त्वरित कार्यवाही करते हुए अभियुक्तों संदीप, बिजेन्द्र उर्फ गोरी, राहुल उर्फ कपिल उर्फ फौजी व आमिर उपरोक्त को गिरफ्तार किया तथा अभियुक्ता श्रीमती पूजा को गिरफ्तार कर न्यायालय के समक्ष पेश किया गया । अभियुक्त दिलशाद द्वारा न्यायालय के समक्ष आत्मसमर्पण किया।
प्रकाश में आया कि अभियुक्त जमशेद उपरोक्त पूर्व से कारागार में निरुद्ध था। पुलिस ने अभियुक्तों के विरुद्ध आरोप पत्र न्यायालय में प्रस्तुत किया था। इस मामले में पुलिस ने प्रभावी पैरवी की व समस्त गवाहों को समय से न्यायालय के समक्ष उपस्थित कराया एवं विशेष लोक अभियोजक द्वारा प्रभावी पैरवी की गई।
अभियोजन व पुलिस की प्रभावी पैरवी के परिणामस्वरुप आज न्यायालय अपर सत्र न्यायधीश कोर्ट-1 द्वारा आरोपी दिलशाद, संदीप, बिजेन्द्र उर्फ गोरी, राहुल उर्फ कपिल उर्फ फौजी, आमिर को धारा-302,34,120 बी भादवि व 25 आयुद्ध अधिनियम के अन्तर्गत आजीवन कारावास व 30-30 हजार रुपये के अर्थदण्ड एवं आरोपी जमशेद व श्रीमती पूजा को धारा-302,120बी भादवि के अन्तर्गत आजीवन कारावास व 25-25 हजार रुपये अर्थदण्ड अर्थदण्ड की सज़ा सुनाई गयी। इस मामले में कोर्ट में एडीजीसी आशीष त्यागी ने प्रभावी पैरवी की, जिससे अभियुक्तों को आजीवन कारावास की सजा हो सकी।