ढाका। ढाका विश्वविद्यालय के प्रोफेसर नादिर जुनैद को तीन माह की छुट्टी पर भेज दिया गया। साथ ही उन्हें इस अवधि में शैक्षणिक गतिविधियों से पूरी तरह अलग रहना होगा। विश्वविद्यालय प्रशासन ने यह फैसला प्रोफेसर नादिर जुनैद पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगने के बाद लिया।
बांग्लादेश के समाचार पत्र द डेली स्टार के अनुसार, इस घटना का खुलासा होने पर विश्वविद्यालय के विद्याथियों ने सोमवार को जमकर नारेबाजी की। छात्र आंदोलन के हिंसक रूप लेने की आशंका के मद्देनजर अधिकारियों ने कल दोपहर यह फैसला लिया। डीयू के जनसंचार और पत्रकारिता विभाग के अध्यक्ष प्रोफेसर अबुल मंसूर अहमद ने इस घटनाक्रम की पुष्टि की है। रजिस्ट्रार कार्यालय से मिले पत्र को प्रोफेसर मंसूर ने प्रदर्शनकारी विद्यार्थियों के सामने पढ़ा। तब छात्रों ने अपना आंदोलन वापस लिया।
इससे पहले आरोप की जांच की मांग को लेकर, जनसंचार एवं पत्रकारिता विभाग के विद्यार्थियों ने कक्षाओं का बहिष्कार किया। उन्होंने मांग की कि आरोपित प्रोफेसर को जांच अवधि तक सभी तरह की शैक्षणिक गतिविधियों से मुक्त रखा जाए। प्रोफेसर मंसूर ने कहा कि वह इस मुद्दे को अगली सिंडिकेट बैठक में उठाएंगे। रविवार को पीड़ित छात्रा ने वाइस चांसलर को प्रोफेसर नादिर के खिलाफ यौन उत्पीड़न करने की लिखित शिकायत दी थी।