लखनऊ- उत्तर प्रदेश में बिजली मित्र पोर्टल की सहायता से अब तक लगभग 2800 बिजली चोरी के मामले पकड़े गए हैं।
आधिकारिक सूत्रों ने मंगलवार को बताया कि बिजली चोरी करने वालों पर एफआईआर के साथ ही राजस्व निर्धारण भी किया गया है। इनमें अनेक प्रकरण बड़ी चोरियों के भी है।
यूपी पावर कारपोरेशन ने पिछली एक मई को बिजली मित्र लिंक की शुरूआत की थी, जिसमें शिकायतकर्ता गुमनाम रहकर ऑनलाइन बिजली चोरी की जानकारी दे सकता है। यह पोर्टल आम जनता के बीच काफी लोकप्रिय हो रहा है। बड़ी संख्या में लोग सूचनाएं भेज रहे है।
प्राप्त सूचना के आधार पर लखनऊ में जेसी गेस्ट हाउस में 51 किलोवाट की चोरी पकड़ी गई। लखनऊ के ही अलीगंज में 26 किलोवाट की चोरी पकड़ी गई। इसी तरह, फरूखाबाद में 23 किलोवाट की, एटा में 17 किलोवाट तथा रामपुर में 15 किलोवाट की बड़ी चोरी बिजली मित्र के माध्यम से पकड़ी जा चुकी है।
पावर कारपोरेशन के अध्यक्ष एम देवराज ने बताया कि शिकायतों पर प्रभावी कार्यवाही हो रही है एवं बिजली चोरी रोकने में सहायता मिल रही है। अध्यक्ष ने जनता से अपील की है कि बिजली चोरी रोक कर प्रदेश की विद्युत व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए कारपोरेशन के इस प्रयास में सहयोग करें। साथ ही भेजी गई सूचना में चोरी किए जा रहे परिसर का सही पता लिखें।
उन्होने बताया कि अभी तक यूपी पावर कारपोरेशन की वेबसाइट में उपलब्ध लिंक एवं चैट बोट पर विद्युत चोरी से संबंधी शिकायतें की जा सकती थी, लेकिन इसमें शिकायतकर्ता का नाम, मोबाइल नंबर, डिस्काम का नाम तथा सबस्टेशन की जानकारी ली जाती थी। इसके कारण लोग शिकायत करने में असहज महसूस करते थे। शिकायतकर्ता की इन असुविधाओं को दूर करने एवं उसकी गोपनीयता बनाए रखते हुए बिजली चोरी का पता लगाने हेतु यह पोर्टल बनाया गया है।