Sunday, April 13, 2025

उत्तराखंड में वन संपदा का हाेगा उपयाेग, कृषकाें काे  मिलेंगी सुविधाएं 

देहरादून। उत्तराखंड राज्य के सघन वन क्षेत्र जड़ी-बूटियों की पर्याप्त उपलब्धता के लिए जाना जाता है। राज्य के अन्तर्गत झूला, मॉस, तेजपत्ता सहित विभिन्न जड़ी-बूटियों का संग्रहण वन विकास निगम व भेषज विकास संघ इत्यादि प्रमुखता से करता है। वन क्षेत्रों से विदोहन की जाने वाली जड़ी-बूटी के संग्रहण और वन क्षेत्र से इत्तर उत्पादित व कृषकों से ली जाने वाली जड़ी-बूटी के स्थानीय-क्रय पर रॉयल्टी अधिरोपण की स्थापित व्यवस्था है।

राज्य वन मुख्यालय द्वारा गत वर्ष वन क्षेत्रान्तर्गत उत्पादित जड़ी-बूटियों की रॉयल्टी दर में की गई वृद्धि (विक्रय मूल्य का 40 प्रतिशत) को सरकार के हस्तक्षेप बाद वापस ले लिया गया है। इस तरह की वृद्धि पर स्थानीय काश्तकारों में व्याप्त रोष काे देखते हुए संग्रहणकर्ता / काश्तकारों के व्यापक हित में तत्काल प्रभावी कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं। अग्रेत्तर वन विकास निगम द्वारा 2 वर्षों में प्रजातिवार विक्रय-मूल्य के आंकड़ों का समिति गठन कर समिति ने परीक्षण के बाद प्रस्तुत सिफारिश के आधार पर शासन स्तर से इस बावत समुचित निर्णय लिया जाएगा।

यह भी पढ़ें :  बंगाल में वक्फ अधिनियम को लेकर हिंसा : कलकत्ता हाईकोर्ट ने सीएपीएफ की तत्काल तैनाती का दिया आदेश
- Advertisement -

Royal Bulletin के साथ जुड़ने के लिए अभी Like, Follow और Subscribe करें |

 

Related Articles

STAY CONNECTED

76,719FansLike
5,532FollowersFollow
150,089SubscribersSubscribe

ताज़ा समाचार

सर्वाधिक लोकप्रिय