मुजफ़्फरनगर। खतौली की एक्सेस बैंक के तत्कालीन शाखा प्रबंधक अमरीश शर्मा को जिले की अदालत ने एक पुराने मामले में 7 साल की सजा सुनाई और एक लाख 35 हजार रुपये का जुर्माना भी ठोका है।
मैनेजर को अदालत ने साल 2021 में खातेदारों के 36 लाख रुपये बिना चेक के दूसरे खाते में ट्रांसफर कर हज़म करने के मामले में दोषी पाया है। मामले की सुनवाई मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट मनोज कुमार जाटव की कोर्ट में हुई। अदालत ने धारा 409 में 7 वर्ष की सज़ा और 50 हज़ार रुपये का जुर्माना लगाया, जबकि धारा 420 और 465 में 5 वर्ष की सज़ा के अलावा 30-30 हज़ार रुपये का जुर्माना भी ठोका।
इसके अलावा धारा 120 बी में 5 वर्ष की सज़ा और 25 हज़ार रुपये का जुर्माना किया गया। अभियोजन के मुताबिक, एक्सेस बैंक खतौली के तत्कालीन मैनेजर अमरीश शर्मा ने बैंक कैशियर के साथ मिलकर वर्ष 2021 में विभिन खातेदारों के रुपये खातों से बिना चेक के दूसरे खातों में ट्रांसफर कर धोखाधड़ी, अमानत में खयानत की थी, जिसकी शिकायत पर एक्सेस बैंक के प्रबंधक अमरीश शर्मा और कैशियर के विरुद्ध खतौली थाने में मामला दर्ज कराया था।
हालांकि केशियर गिरफ्तार नही हो सका और फरार हो गया था, जबकि बैंक मैनेजर अमरीश शर्मा को निलंबित कर जेल भेज गया था और बैंक को खातेदारों की भरपाई उनका पैसे लौटाकर करनी पड़ी थी।