प्रयागराज। उत्तर प्रदेश व मध्य प्रदेश सीमा के नजदीक स्थिति गन्ने हर्रो टोल प्लाजा पर नारीबारी व आस-पास के सैकड़ों ग्रामीणों व क्षेत्रवासियों के लिए कुछ महीनों से आधार कार्ड दिखाने पर आवागमन करने वाले स्थानीय नागरिकों के निजी वाहनों से टोल नहीं लिए जाते थें।
22 सितम्बर से नई कम्पनी रिद्धी-सिद्धी एसोसिएट का टोल प्लाजा पर शुल्क वसूलने का टेंडर होते ही नए टोलकर्मियों ने आधार कार्ड पर मिल रही फ्री आवागमन सुविधा को बंद कर टोल चार्ज फास्टटैंग से वसूलने लगे। फास्टटैंग न होने पर डवल चार्ज भी लिया जाने लगा।
यह जानकारी भाजपा के मीडिया प्रभारी दिलीप कुमार चतुर्वेदी ने देते हुए बताया कि इस मामले को लेकर आए दिन स्थानीय लोगों में आक्रोश और नोंक-झोंक होने लगी। बार-बार आवागमन करने वाले लोगों को टोल भुगतान भारी पड़ने लगा। टोल पर कहासुनी व लम्बी-लम्बी कतारें देखने को मिलने लगी।
आम नागरिकों को हो रही असुविधा को देखते हुए उन्होंने टोल मैनेजर संतोष द्विवेदी से बात की तो बताया कि राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के नियमानुसार टोल टैक्स लिए जा रहे हैं। किसी से कोई अवैध वसूली नहीं की जा रही।
उन्होंने बताया कि एनएचआई द्वारा स्थानीय लोगों का टोल निःशुल्क नहीं किया गया है। उनके लिए 330 रूपए भुगतान पर मासिक पास जारी किया जाता है, जिसका स्थानीय लोग लाभ ले सकते हैं। उन्होंने बताया कि एनएचआई ने प्रदेश भर में स्थानीय निवासियों की निशुल्क सुविधा बंद कर दी है।
श्री चतुर्वेदी ने बताया कि गन्ने हर्रो टोल पर नारीबारी की तरफ से जाने वाले भारी भार वाहनों को गलत साइड से पुलिस की मौजूदगी में निकलना पुलिस प्रशासन के उपर प्रश्न चिन्ह खड़ा करता है। जो उच्चाधिकारियों के जांच और कार्रवाई का विषय है। जिसके कारण आम नागरिकों को रात में घंटों जूझना पड़ता है। जाम का दूसरा कारण टोल पर चार-चार आठ लाईने है। जहां कुछ लेन बंद होने से भी जाम एक बड़ा कारण बना हुआ है। इन दिनों गन्ने हर्रो टोल प्लाजा सुर्खियों में है। शासन-प्रशासन को इस पर ध्यान देना होगा।