नयी दिल्ली- प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज कहा कि देश की जनता ने तय कर लिया है कि 2024 में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) को 50 प्रतिशत से अधिक वोटों के साथ तीसरी बार सेवा का अवसर मिलेगा और हमारे गठबंधन की सरकार नए, आत्मनिर्भर एवं विकसित भारत का निर्माण करके रहेगी।
श्री मोदी ने आज शाम यहां राजधानी के अशोक होटल में राजग के साझीदारों के साथ एक बैठक को संबोधित करते हुए यह बात कही। इस बैठक में देश की बड़ी छोटी 38 क्षेत्रीय पार्टियों के नेताओं ने शिरकत की और वर्ष 2024 लोकसभा चुनावों में विपक्षी गठबंधन से मुकाबला करने के लिए एक संयुक्त रणनीति पर चर्चा की। बैठक में
श्री मोदी के आयोजन स्थल पर पहुंचने पर भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा, शिवसेना के नेता एवं महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिन्दे, बिहार के हिन्दुस्तानी अवाम (हम) पार्टी (सेकुलर) के नेता जीतनराम माझी, अन्नाद्रमुक के नेता ई पलानीस्वामी और नागालैंड में सत्तारूढ़ एनडीपीपी के नेता एवं मुख्यमंत्री नियो फिये रिओ ने स्वागत किया। श्री मोदी के स्वागत के लिए देश के पूर्वी, उत्तर-पूर्वी, पश्चिमी, दक्षिणी एवं उत्तरी भाग के प्रतिनिधियों की मौजूदगी से राजग की सारे देश में मौजूदगी का राजनीतिक संदेश देने की कोशिश की गयी।
बैठक शुरू होने से पूर्व राजग के नेताओं ने एक बड़ा हार पहना कर श्री मोदी का अभिनंदन किया और एक समूह चित्र भी खिंचवाया। इस मौके पर भाजपा अध्यक्ष राजनाथ सिंह, सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी, गृह मंत्री अमित शाह एवं संसदीय कार्य मंत्री प्रल्हाद जोशी भी मौजूद थे।
बैठक में 38 पार्टियों के प्रतिनिधि आये थे। जिन अन्य नेताओं ने बैठक में भाग लिया, उनमें प्रमुख रूप से राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के नेता अजीत पवार एवं प्रफुल्ल पटेल, लोकजनशक्ति पार्टी (रामविलास) के चिराग पासवान एवं पशुपति पारस, असम गण परिषद के नेता एवं असम सरकार में मंत्री अतुल बोरा, हरियाणा की जननायक जनता पार्टी (जीजीपी) के नेता एवं उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला, राष्ट्रीय लोक समता पार्टी के उपेन्द्र कुशवाहा, निषाद पार्टी के संजय निषाद, जन सेना प्रमुख पवन कल्याण आदि शामिल थे।
श्री मोदी ने करीब डेढ़ घंटे तक चली इस बैठक के बाद आखिर में संबोधित करते हुए कहा कि हाल ही में राजग के गठन के 25 साल पूरे हुए हैं। ये 25 वर्ष विकास और क्षेत्रीय आकांक्षाओं की पूर्ति के रहे हैं। राजग के 25 वर्षों की इस यात्रा के साथ एक और संयोग जुड़ा है। ये वह समय है, जब हमारा देश आने वाले 25 वर्षों में एक बड़े लक्ष्य की प्राप्ति के लिए कदम बड़ा रहा है। ये लक्ष्य विकसित भारत का है, आत्मनिर्भर भारत का है।
श्री मोदी ने कहा कि हमारे देश में राजनीतिक गठबंधनों की एक लंबी परंपरा रही है, लेकिन जो भी गठबंधन नकारात्मकता के साथ बने वह कभी भी सफल नहीं हो पाए। कांग्रेस ने 90 के दशक में देश में अस्थिरता लाने के लिए गठबंधनों का इस्तेमाल किया। कांग्रेस ने सरकारें बनाईं और सरकारें बिगाड़ीं।
उन्होंने कहा कि 1998 में राजग का गठन हुआ था, लेकिन सिर्फ सरकारें बनाना और सत्ता हासिल करना राजग का लक्ष्य नहीं था। राजग किसी पार्टी के विरोध में या किसी को सत्ता से हटाने के लिए नहीं बना था। इसका गठन देश में स्थिरता लाने के लिए किया गया था। जब किसी देश में स्थिर सरकार होती है, तो देश एक साहसिक निर्णय लेता है जो देश की दिशा बदल देता है। उन्होंने विपक्ष पर कटाक्ष करते हुए कहा कि जब हम विपक्ष में थे तो हमने हमेशा सकारात्मक राजनीति की, कभी नकारात्मक राजनीति का रास्ता नहीं अपनाया। हमने कभी जनादेश का अपमान नहीं किया। लोकतंत्र को मजबूत करने के लिए हमने अपने सभी कर्तव्य निभाए. हमने सरकारों का विरोध करने के लिए कभी भी विदेशी मदद नहीं मांगी। हम विपक्ष में रहे लेकिन देश के विकास में न रोड़े अटकाए और न ही रूकावट बने।
श्री मोदी ने कहा कि लेकिन जब गठबंधन सत्ता की मजबूरी का हो, जब गठबंधन भ्रष्टाचार की नीयत से हो, जब गठबंधन परिवारवाद की नीति पर आधारित हो, जब गठबंधन जातिवाद और क्षेत्रवाद को ध्यान में रखकर किया गया हो तो वो गठबंधन देश का बहुत नुकसान करता है। उन्होंने कहा कि 2014 से पहले की गठबंधन सरकार का उदाहरण हमारे सामने है। प्रधानमंत्री के ऊपर एक आलाकमान, नीति पंगुता, निर्णय लेने में अक्षमता, अव्यवस्था और अविश्वास, खींचतान और भ्रष्टाचार, लाखों-करोड़ों के घोटाले। ये उस गठबंधन की पहचान थी लेकिन राजग देश की जनता के लिए प्रतिबद्ध है और इसकी विचारधारा है- राष्ट्र प्रथम, राष्ट्र की सुरक्षा सबसे पहले, पहले प्रगति करो और सबसे पहले लोगों का सशक्तिकरण।
उन्होंने कहा कि लोगों को सशक्त बनाने में कोई कसर नहीं छोड़ी गई। परिणामस्वरूप, नीति आयोग की रिपोर्ट के अनुसार 2015-16 के बाद लगभग 13.5 करोड़ लोगों को गरीबी से बाहर निकाला गया। विश्व बैंक की एक रिपोर्ट के अनुसार, लगभग 40 करोड़ लोगों ने बहुत कम समय में गरीबी को हरा दिया। अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) के अनुसार, भारत से अत्यधिक गरीबी ख़त्म होने की कगार पर है। उन्होंने कहा कि राजग सरकार ने बीते 9 वर्षों में भ्रष्टाचार के हर रास्ते को बंद करने के लिए हर संभव प्रयास किया। पहले सत्ता के गलियारे में जो बिचौलिए घूमते थे, उन्हें बाहर कर दिया। जनधन, आधार और मोबाइल की त्रिशक्ति से गरीबों का हक छीनने से रोका है। लगभग 30 लाख करोड़ रुपए लोगों के बैंक खातों में भेजे गये हैं और तीन लाख करोड़ रुपए का दुरुपयोग रोका गया है।
श्री मोदी ने विपक्ष पर प्रहार करते हुए कहा कि विपक्ष ने नौ सालों में एक ही पहचान बनायी है कि हमें गाली देना और हमें नीचा दिखाना। लेकिन हमने राजनीतिक शालीनता को बनाये रखा। राजग की सरकार ने श्री प्रणव मुखर्जी को भारत रत्न दिया। राजग की सरकार ने श्री मुलायम सिंह यादव, शरद पवार, तरुण गोगाई, गुलाम नबी आज़ाद, एस सी जमीर और मुज़फ्फर बेग को पद्म सम्मान प्रदान किये और यह कभी नहीं सोचा कि वे हमारी पार्टी में हैं या नहीं। हमने हमने देशसेवा में सभी के योगदान को स्वीकार किया, उसे सराहा, उन्हें सम्मानित किया। लोकतंत्र की ये मूल भावना राजग की कार्यशैली में आपको हर जगह दिखेगी। इसी प्रकार जी-20 के आयोजनों भी हर राज्य हर जगह आयोजित किये। कोरोना काल में भी हर मुख्यमंत्री से बात की और यह नहीं सोचा कि कौन किस पार्टी का मुख्यमंत्री है।
उन्होंने कहा कि एक समय था जब भाषा का इस्तेमाल देश के लोगों को बांटने के लिए एक उपकरण के रूप में किया जाता था। हालाँकि, राजग सरकार ने मातृभाषा पर जोर दिया और आज युवाओं को अपनी मातृभाषा का उपयोग करके डॉक्टर और इंजीनियर बनने के अवसर मिल रहे हैं। विरासत एवं धरोहर को वैश्विक बनाने के लिए काम किया है। योग को वैश्विक एकता का एक कारक माना जा रहा है। मिलेट्स यानी श्रीअन्न को भी वैश्विक ट्रेंड में लाया गया है।
उन्होंने कहा, “हम देश के लोगों को जोड़ने का काम कर रहे हैं, वो देश के लोगों को तोड़ने का काम कर रहे हैं। विपक्ष के लोग इस गलती को बार बार दोहरा रहे हैं। वे सामान्य मानवी की समझदारी को कम करके आंक रहे हैं। लेकिन जनता खुली आंख से सब देख रही है कि इतनी पार्टियां क्यों इकट्ठी हो रहीं हैं और कौन सी गोंद से चिपकी हैं। इनकी गलबहियां मिशन नहीं मजबूरी है।” उन्होंने कहा कि केरल में लेफ्ट और कांग्रेस एक-दूसरे की जान के पीछे पड़े हैं. हालांकि बेंगलुरु में दोनों पार्टियों के नेता हाथ मिला रहे हैं। पश्चिम बंगाल में तृणमूल कांग्रेस, वाममोर्चा और कांग्रेस के कार्यकर्ताओं पर हमला कर रही है। लेकिन इन पार्टियों के नेता इन हमलों पर खामोश हैं। ये अपने ही कार्यकर्ताओं को मरवा रहे हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा, “ये दल अपने राजनीति स्वार्थ के लिए ये लोग पास-पास तो आ सकते हैं, लेकिन साथ नहीं आ सकते। इन्हें अपने कार्यकर्ताओं की भी परवाह नहीं है। ये अपने कार्यकर्ताओं से उम्मीद करते हैं कि जीवन भर जिनका विरोध किया उनका अचानक से सत्कार करने लग जाएंं।” उन्होंने कहा, “जो लोग आज मोदी को कोसने में इतना समय लगा रहे हैं… अच्छा होता, वह देश के लिए सोचने में, गरीब के लिए सोचने में अपना समय लगाते। हम उनके लिए प्रार्थना ही कर सकते हैं।”
श्री मोदी ने कहा, “2024 के चुनाव दूर नहीं हैं। देश के लोगों ने मन बना लिया है कि तीसरी बार भी राजग को अवसर देना है। विदेश का मन भी बहुत कुछ संकेत दे रहा है। चुनाव का असर वैश्विक संबंधों पर पड़ता है। निवर्तमान सरकार के साथ अन्य देशों की सरकारें कोई दीर्घकालिक समझौता नहीं करतीं हैं और उनके साथ कोई नयी पहल नहीं करतीं हैं। जाने वाली सरकारों के साथ कोई अपना समय बरबाद नहीं करता है। लेकिन सबको पता है कि भारत में चुनाव होने वाले हैं और तमाम देश राजग के मंत्रियों को आमंत्रित कर रहे हैं और संबंध बढ़ा रहे हैं। उन्हें भी पता है कि भारत के लोगों का भरोसा राजग के प्रति हैं। दुनिया को राजग के पुन: सत्ता में आने का यकीन है।”
उन्होंने कहा कि राजग का विस्तार केवल संख्या का विस्तार नहीं है, बल्कि लोगों के विश्वास के दायरे का विस्तार है। जनता में राजग की कैमेस्ट्री एवं हिस्ट्री दोनों की विश्वसनीयता है। इसलिए गणित भी राजग के पक्ष में होता गया है। वर्ष 2014 में राजग को 38 प्रतिशत वोट मिले थे जबकि 2019 में राजग को 45 प्रतिशत वोट मिले। इनमें से सवा दो सौ सीटों पर राजग को 50 प्रतिशत से अधिक वोट मिले थे।
श्री मोदी ने दावा किया, “राजग के हर सहयोगी की मेहनत से 2024 में राजग की वोट में हिस्सेदारी 50 प्रतिशत से ऊपर जाएगी। आपकी मेहनत बेकार नहीं जाएगी। पूरे देश को राजग से बड़ी उम्मीद हैं। हमें हर भूभाग एवं हर समाज को विकसित भारत की ताकत से जाेड़ना है। हमारा एक ही उद्देश्य है -भारत का विकास। हम पूरी शक्ति से काम करेंगे और हम मेहनत करेंगे। यही हमारी गारंटी है।” उन्होंने कहा, “लाल किले से मैंने कहा था- यही समय है, सही समय है। आज देश में एक माहौल बन चुका है। पिछले 9 वर्षों में नए भारत की मजबूत नींव का निर्माण हो चुका है। इस नींव पर हम सबको नए भारत का, आत्मनिर्भर भारत का, विकसित भारत का निर्माण करके ही रहना है।”
प्रधानमंंत्री ने कहा, “मैं आपको विश्वास दिलाता हूं, देशवासियों को विश्वास दिलाता हूं कि मैं अपने परिश्रम में, अपने प्रयासों में कहीं कोई कमी नहीं रहने दूंगा। मेरे शरीर का हर कण, मेरे समय का हर क्षण, देश को ही समर्पित है। आपका मुझमें विश्वास ही मेरी ऊर्जा है। जब हमने देश की बागडोर संभाली थी, भारत दुनिया की दसवीं अर्थव्यवस्था थी और आज यह पांचवे नंबर पर है। अगले कार्यकाल में हमारी अर्थव्यवस्था विश्व की तीसरी अर्थव्यवस्था हो जाएगी।”
उन्होंने कहा कि हमारे हर सपने संकल्प हैं और संकल्प को सिद्धि तक लाने के लिए हम जीजान से जुटे हैं।
राजग की यह बैठक 25वें साल में हो रही है और हमारे पास अगले 25 साल का रोडमैप है। अमृतकाल में हमें देश की सेवा करने का अवसर मिला है। उन्होंने कहा, “आपके पुरुषार्थ से आपके नेतृत्व में यह संभव होने वाला है। आपका विश्वास ही मेरी ऊर्जा, मेरी पूंजी, मेरी धरोहर है। उसी से देश की आशा आकांक्षा पूरी करेंगे।”
बैठक के बाद राजग के नेताओं के लिए भोजन का आयोजन किया गया था।