शामली। जिला मुख्यालय पर शामली में नगर पालिका की कार्यप्रणाली ठेकेदारों को फायदा और जनता को नुकसान पहुंचाती नजर आ रही है। नगर पालिका द्वारा शहर के बीच से होकर गुजर रहे नाले पर लोहे के बड़े-बड़े जाल सुरक्षा की दृष्टि से लगवाए गए हैं, जिन्हें नाले की सफाई के नाम पर बार-बार उखड़वा दिया जाता है। नगर पालिका कूड़ा निकालने के मार्डन तरीकों को अपनाने की बजाय ठेकेदारों को मुनाफा देती नजर आ रही है।
आपको बता दें कि पिछले करीब तीन दिनों में हुई बारिश के कारण शामली शहर के बीच से गुजर रहा मुख्य नाला चौक हो गया था, जिससे कई स्थानों पर सड़क पर भी पानी आ गया था। शिकायतों के बाद सोमवार को नगर पालिका शामली द्वारा जेसीबी मशीन के माध्यम से कई स्थानों पर जाल को उखड़वाते हुए कचरे को बाहर निकाला गया। जनता का आरोप है कि नगर पालिका ऐसा सिर्फ एक दो बार नही बार-बार करती है। जेसीबी मशीन से जाल उखड़वाएं जाते हैं और फिर से इन्हें फिट करवा दिया जाता है।
दयानंदनगर निवासी सेठपाल ने बताया कि अभी दो महीने पहले की नगर पालिका के ठेकेदार द्वारा जाल की मरम्मत की गई थी, लेकिन उन्हें फिर से उखाड़ दिया गया। जनता का यह भी आरोप है कि नाला पटरी के दोनों किनारों पर लगे जाल ठेकेदारों को फायदा और जनता को नुकसान पहुंचा रहे है। पिछले दिनों शहर के मोहल्ला शांतिनगर में जाल गिरने से एक बुजुर्ग व्यक्ति की मौत भी हो गई थी।
नगर पालिका द्वारा नाले की सफाई के लिए मार्डन तरीके अपनाने के बजाय ज्यादा खर्चीले तरीके अपनाए जाते हैं। इससे जहां सफाई कर्मचारियों को भारी मशक्कत करनी पड़ती है, वहीं जनता को भी भीषण गंदगी से दो-चार होना पड़ता है। बार—बार जाल उखड़वाने के बजाय पालिका विशेष स्थानों पर नाले में अवरोधक लगाकर मोटे कूड़े और प्लास्टिक कचरे को निकालने का काम कर सकती है, लेकिन इसके बजाय महंगे और खर्चीले तरीकों पर ध्यान केंद्रित किया जाता है, जिसका सीधा लाभ ठेकेदारों को मिलता है।
ईओ शामली रामेंद्र सिंह ने बताया कि बारिश के कारण नाला चौक होने की वजह से जाल को हटाया गया है, हालांकि सफाई पूरी होने के बाद जाल को फिर से मौके पर लगवा दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि पालिका द्वारा जाल नही हटाए जा रहे हैं।