नई दिल्ली। एक समय था जब वे आसमान में यात्रियों की सेवा किया करती थीं और लाखों की सैलरी कमाती थीं, लेकिन आज वे सांसारिक मोह-माया त्यागकर साध्वी के रूप में अध्यात्म का जीवन जी रही हैं। यह कहानी है पूर्व एयर होस्टेस आर्या की, जिन्होंने अपनी ग्लैमरस जिंदगी को अलविदा कहकर साध्वी बनने का रास्ता चुना। उनकी यह यात्रा प्रेरणादायक और अद्भुत है।
विष्णु शंकर जैन की हत्या की थी साज़िश, देश में भड़काना था दंगा, आरोपी गिरफ्तार
आर्या (बदला हुआ नाम), जो दिल्ली की रहने वाली हैं, ने एक प्रतिष्ठित एयरलाइन में बतौर एयर होस्टेस काम किया। वे अपनी लग्ज़री लाइफस्टाइल और ग्लैमरस करियर के लिए जानी जाती थीं। उनकी मासिक सैलरी लाखों में थी, लेकिन उनके मन को शांति नहीं मिली। उन्होंने बताया, “जीवन में सब कुछ होते हुए भी एक खालीपन महसूस होता था। मैंने कई यात्राओं के दौरान देखा कि भौतिक सुख कभी स्थायी खुशी नहीं दे सकते।”
मुजफ्फरनगर में कैफे में नाबालिग के साथ बलात्कार, पुलिस ने आरोपियों को किया गिरफ्तार
आर्या ने अपनी आध्यात्मिक यात्रा की शुरुआत एक ध्यान शिविर में भाग लेकर की। यह शिविर उनके जीवन का टर्निंग प्वाइंट साबित हुआ। ध्यान और योग के माध्यम से उन्होंने जाना कि सच्ची खुशी भौतिक चीजों में नहीं, बल्कि आत्मा की शांति में है। धीरे-धीरे उन्होंने अपने जीवन में साधना को प्राथमिकता देना शुरू कर दिया।
कैलाश मानसरोवर यात्रा फिर से शुरू होगी, भारत-चीन ने लिया फैसला
2023 में, आर्या ने नौकरी छोड़ने का बड़ा फैसला किया। उन्होंने एक प्रसिद्ध आध्यात्मिक गुरु से दीक्षा ली और अपना नया नाम साध्वी आर्यात्मा रखा। साध्वी बनने के बाद उन्होंने सांसारिक सुख-सुविधाओं को त्याग दिया और एक सादगीपूर्ण जीवन अपनाया।
साध्वी आर्यात्मा अब समाज सेवा और ध्यान के प्रचार-प्रसार में जुटी हुई हैं। वे विभिन्न ध्यान शिविरों और योग सत्रों का आयोजन करती हैं और लोगों को सच्ची खुशी के मार्ग पर चलने के लिए प्रेरित करती हैं। उनका कहना है, “हम जीवन में सुख पाने के लिए दौड़ते रहते हैं, लेकिन असली सुख हमारे भीतर ही है। बस उसे खोजने की जरूरत है।”