शिवमोग्गा, (कर्नाटक)। शिवमोग्गा शहर में ईद मिलाद जुलूस के दौरान हिंसा के पीड़ितों ने बताया कि रविवार की शाम उपद्रवियों ने उन्हें आतंकित करने की कोशिश की। कई लोगों ने बताया कि पथराव करने वाली हिंसक भीड़ ने बुजुर्गों, बच्चों और महिलाओं को निशाना बनाया।
पीड़ितों ने सोमवार को मीडिया से कहा, हमलावरों को सामना करने के लिए सभी पड़ोसियों को एकजुट होना पड़ा, घरों से बाहर आना पड़ा और रक्षा के लिए लाठियों और पत्थरों के साथ खड़ा होना पड़ा। हमें लड़ते देखकर उपद्रवियों ने दूर से पथराव शुरू कर दिया।
जब शिवमोग्गा शहर में ईद मिलाद का जुलूस निकाला जा रहा तो उपद्रवियों के समूह हिंदुओं के आवासीय इलाके में घुस गए। जब जुलूस शांतिनगर के पास रागीगुड्डा इलाके में आया तो स्थिति तनावपूर्ण हो गई क्योंकि एक समूह ने हिंदुओं और पुलिस के घरों को निशाना बनाकर पथराव किया। जिस सड़क से जुलूस गुजरा, उसके दोनों ओर स्थित हिंदुओं के घरों को पथराव करने वालों ने निशाना बनाया।
पीड़ितों के अनुसार, खिड़कियों के शीशे टूट गए और घरों के बाहर खड़े वाहन क्षतिग्रस्त हो गए। महिलाओं ने बताया कि उनके पति पर पत्थर से हमला किया गया और उन्होंने उनके बेटे पर भी बड़ा पत्थर फेंकन की कोशिश की। किसी तरह, वे घर के अंदर भाग गए और दरवाजा बंद कर लिया। उन्होंने बताया कि इसके बाद बदमाशों ने घर पर पथराव किया। कई लोगों ने बताया कि हिंसक भीड़ अधिकतम नुकसान पहुंचाने का लक्ष्य बना रही थी।
पुलिस सूत्र बताते हैं कि सावधानी बरतने और अतिरिक्त पुलिस प्लाटून तैनात करने से हिंसा पर काबू पा लिया गया और भीड़ के हमले के बावजूद पुलिस ने किसी बड़ी अप्रिय घटना को रोका। पुलिस ने हिंसा और अन्य को शिकार बनाने के सिलसिले में 20 से अधिक लोगों को हिरासत में लिया है। तनाव बढ़ने के बाद कर्नाटक पुलिस ने सोमवार को पूरे शिवमोग्गा शहर में कर्फ्यू बढ़ा दिया है। ईद मिलाद जुलूस के दौरान हिंसा के बाद रविवार को शहर के रागी गुड्डा इलाके में आईपीसी 144 निषेधाज्ञा लागू कर दी गई।
किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए जिला सशस्त्र रिजर्व (डीएआर) की कम से कम 12 प्लाटून, रैपिड एक्शन फोर्स (आरएएफ) की 2 प्लाटून, कर्नाटक राज्य रिजर्व पुलिस (केएसआरपी) की 2 प्लाटून और 2,500 पुलिस को शहर भर में तैनात किया गया है।