मुजफ्फरनगर। सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक टिप्पणी करने के बाद बुढ़ाना में बवाल का कारण बने अखिल त्यागी की जमानत अर्जी मंजूर हो गई है। अखिल त्यागी की टिप्पणी के बाद बुढाना में कोतवाली के सामने जाम लगाकर प्रदर्शन व हंगामा करने वाले दूसरे समुदाय के 19 लोगों की भी जमानत मंजूर हो गई।
बुढाना कांड में आज न्यायालय अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश कोर्ट नंबर दो मुजफ्फरनगर में न्यायाधीश अशोक कुमार की कोर्ट में अखिल त्यागी की जमानत पेश हुई। विगत 18 अक्टूबर को अखिल त्यागी की फेसबुक आईडी से गोल्डन भारत नाम की आईडी पर वक्फ बोर्ड संपत्ति बिल के खिलाफ एक पोस्ट की गई थी व एक समुदाय की धार्मिक भावनाओं को आहत करने संबंधी टिप्पणी की गई थी।
जिस पर मुफ्ती आस मोहम्मद द्वारा थाना बुढाना पर अपराध संख्या 433 सन 2024 अंतर्गत धारा 299, 353 बीएनएस व 67 आईटी एक्ट का मुकदमा पंजीकृत कराया गया था। अखिल त्यागी को बुढ़ाना पुलिस द्वारा गिरफ्तार कर 20 अक्टूबर को जेल भेजा गया था, जिसके उपरांत हजारों की संख्या में समुदाय विशेष के लोगों ने अखिल त्यागी के परिजन प्रवेश त्यागी के घर पर ईट पत्थरों से हमला कर दिया तथा कस्बा बुढ़ाना का माहौल गर्म हो गया था।
अखिल त्यागी की जमानत अवर न्यायालय द्वारा 21 अक्टूबर को खारिज कर दी गई थी। अखिल त्यागी की जमानत 22 अक्टूबर को संदीप कुमार त्यागी एडवोकेट द्वारा जिला एवं सत्र न्यायाधीश मुजफ्फरनगर की कोर्ट में पेश की गई, जिस पर जिला जज द्वारा जमानत प्रार्थना पत्र को अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश कोर्ट नंबर दो मुजफ्फरनगर में स्थानांतरित किया गया था, जिस पर आज सुनवाई की गई।
आज अखिल त्यागी की ओर से विजय कुमार त्यागी अध्यक्ष अधिवक्ता परिषद मुजफ्फरनगर व संदीप कुमार त्यागी एडवोकेट व दुष्यंत कुमार त्यागी एडवोकेट व विकास कुमार त्यागी महासचिव बुढ़ाना बार एसोसिएशन ने जोरदार पैरवी व बहस की।
न्यायालय द्वारा दोनों पक्षों की बहस सुनी गई तथा प्रपत्रों का अवलोकन कर अखिल त्यागी की जमानत स्वीकार की गई। त्यागी समाज में बेल स्वीकार होने पर हर्ष का माहोल हो गया। सभी ने इसे न्याय की जीत बताया, क्योंकि भीड़ के दबाव में अखिल त्यागी की गिरफ्तारी की गई थी।
इसी के साथ बुढ़ाना थाने पर जाम लगाने वाले सभी 19 लोगो की जमानत भी मंजूर कर दी गई। पुलिस ने सीसीटीवी जांच के आधार पर 22 अक्तूबर को मुस्लिम समुदाय के भी 19 आरोपियों हसनैन, राहिल, आजम, समी कुरैशी, कैफ उर्फ मोदी, उजैफ, जुनैद, काशिफ, मासूम, असद, फैज उर्फ बिल्ला, इकलाख, समीर उर्फ दिलजान, राशिद, इसरार, आस मोहम्मद, नवेद, शमशाद और सैफ उर रहमान को गिरफ्तार कर लिया था।
कोर्ट के आदेश पर उन्हें जेल भेज दिया गया था।बृहस्पतिवार को कोर्ट में सभी आरोपियों की जमानत अर्जी पर सुनवाई हुई, जिसे कोर्ट ने स्वीकार करते हुए आरोपियों को जमानत पर रिहा करने का आदेश दिया। इसी बीच बृहस्पतिवार को नगर पंचायत वार्ड 15 से सभासद के पति राशिद मंसूरी ने कोर्ट में आत्मसमर्पण कर दिया।