लखनऊ। लोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा के दौरान नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी की ओर से हिंदुओं को लेकर दिये गए बयान के बाद सियासत गरमा गई है। कांग्रेस नेता सुरेंद्र राजपूत ने कहा कि क्या सदन में भगवान शिव का चित्र लेकर जाना हिंदुओं का अपमान है। हिंदुओं का अपमान भाजपा के नेता और सदन के अध्यक्ष ने किया है, जिन्होंने भगवान का चित्र दिखाने नहीं दिया। राहुल गांधी ने साफ तौर पर कहा कि जो हिंदू हिंसा करता है, वो हिंदू हो ही नहीं सकता। जो लोग असत्य बोलते है, हिंसा करते हैं, वो हिंदू कैसे हो सकते है? ये लोग गरीबों पर अत्याचार करते हैं।
क्या पीएम मोदी, भाजपा, आरएसएस ही हिंदुओं के ठेकेदार हैं? उन्होंने आगे कहा कि भाजपा सरकार को लोकहित के मुद्दों से कोई सरोकार नहीं है। ये जनता का दर्द नहीं जानते। अग्निवीर योजना पर राहुल गांधी ने सदन में दो तथ्य रखे, वो सही हैं। देश में एक संविधान है, जिसे कोई तोड़ नहीं सकता।
दरअसल, राहुल गांधी ने कहा कि जो लोग अपने आप को हिंदू कहते हैं, वह 24 घंटे हिंसा, हिंसा, हिंसा; नफरत, नफरत, नफरत, असत्य, असत्य, असत्य करते रहते हैं। ये हिंदू हैं ही नहीं। आप हिंदू हो ही नहीं सकते। हिंदू धर्म में साफ लिखा है कि सत्य के साथ खड़ा होना चाहिए। सत्य से पीछे नहीं हटना चाहिए।
पीएम मोदी ने राहुल के बयानों पर पलटवार करते हुए कहा था कि इस संविधान ने मुझे सिखाया है कि मुझे विपक्ष के नेता को गंभीरता से लेना चाहिए। पूरे हिंदू समाज को हिंसक कहना गंभीर बात है। इस पर राहुल गांधी ने कहा कि पीएम मोदी और बीजेपी पूरा हिंदू समाज नहीं है। आरएसएस पूरा हिंदू समाज नहीं है। मैंने भाजपा को हिंसक कहा। भाजपा पूरा हिंदू समाज नहीं है।