मुंबई। फिल्ममेकर और कोरियोग्राफर फराह खान ने उन दिनों को याद किया, जब वह पहली बार सिनेमा हॉल में फिल्म देखने गई थी। उन्होंने अपनी इंस्टाग्राम स्टोरी पर जुहू के लीडो सिनेमा हॉल का एक वीडियो शेयर किया और बताया कि वह बचपन में पहली बार यहीं पर फिल्म देखने आयी थीं।
वीडियो में लीडो सिनेमा हॉल की दीवारों पर देव आनंद और राज कपूर जैसे आइकोनिक स्टार्स की तस्वीरें बनी हुई हैं। उन्होंने लिखा, “यकीन नहीं हो रहा कि यह लीडो सिनेमा है… मैंने अपनी जिंदगी की पहली फिल्म यहीं देखी थी… और अपना बचपन यहीं बिताया।” भारत की सबसे बड़ी मूवी थिएटर चेन, पीवीआर आईनॉक्स ने मुंबई के लीडो सिनेमा की ऐतिहासिक सुंदरता को बनाए रखते हुए इसे मेकओवर किया है। फराह के करियर पर नजर डालें तो, उन्होंने इंडस्ट्री में 80 से ज्यादा फिल्मों में, 100 से ज्यादा गानों को कोरियोग्राफ किया है।
उन्हें पहली बार 1992 में आमिर खान स्टारर फिल्म ‘जो जीता वही सिकंदर’ के गानों को कोरियोग्राफ करने का मौका मिला, जो सीधे दर्शकों के दिलों में उतर गया। उन्होंने 2003 में आई ऋतिक रोशन और प्रीति जिंटा स्टारर फिल्म ‘कोई मिल गया’ के गाने ‘इधर चला मैं उधर चला’ के लिए बेस्ट कोरियोग्राफी के लिए नेशनल फिल्म अवॉर्ड भी जीता था। उन्होंने बतौर निर्देशक 2004 में शाहरुख खान और सुष्मिता सेन स्टारर ‘मैं हूं ना’ से डेब्यू किया।
इसके बाद उन्होंने 2007 में ‘ओम शांति ओम’ बनाई। फराह ने 2010 में ‘तीस मार खां’ के साथ कॉमेडी में हाथ आजमाया, जिसे बॉक्स ऑफिस पर कुछ खास सफलता नहीं मिली। 2014 में उन्होंने शाहरुख खान और दीपिका पादुकोण के साथ ‘हैप्पी न्यू ईयर’ बनाई, जिसने अच्छी कमाई की। फराह ने 2012 में संजय लीला भंसाली की बहन बेला भंसाली द्वारा निर्देशित ‘शिरीन फरहाद की तो निकल पड़ी’ में बतौर एक्ट्रेस भी अपनी किस्मत आजमाई। इसमें उनके अपोजिट बोमन ईरानी थे।