गाजियाबाद। आवास विकास परिषद ने 150 सहकारी समितियों को नोटिस जारी कर उनसे 15 दिन में जवाब मांगा है। यह ऐसी समितियां हैं, जिन्होंने आविप में अपना पंजीकरण वर्ष 2006 से पहले करा लिया था लेकिन इसके बाद इन्होंने विभाग की योजनाओं में कोई रुचि नहीं ली।
आवास विकास सहकारी समिति के अरिवर्दन गौड़ ने बताया कि सहकारी समितियों का मूल उद्देश्य समिति गठन के बाद योजनाओं के तहत जमीन खरीद कर इस पर निर्माण करना है। विभाग ने 150 निष्क्रिय समितियों को नोटिस जारी कर उनसे जवाब मांगा है। जवाब न मिलने पर इनके पंजीकरण रद्द किए जाएंगे। दरअसल यह ऐसी समितियां हैं, जिन्होंने वर्षों से अपना चुनाव भी नहीं कराया है। उन्होंने बताया कि वर्तमान में करीब 350 सहकारी समिति हैं, जो विभाग की योजनाओं में सहयोग कर रही हैं और निर्माण कार्य में जुटी हैं। वहीं, बहुत सी समितियां निष्क्रिय हैं।
अधिकारी ने समितियों का मूल उद्देश्य किसान या फिर विभाग से जमीन खरीद कर वहां आवासीय योजना विकसित करना है। इससे जहां खाली भूखंड है वहां बसावट हो सके। आवास विकास की जैसे मंडोला, ग्रेटर नोएडा, नोएडा आदि में जमीने हैं पंजीकृत समितियों का उद्देश्य यहां जमीनें खरीदकर भवन निर्माण करना था।