लखनऊ। बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती ने गठबंधन दल सपा-कांग्रेस पर हमला बोला हैं। उन्होंने कहा कि आरक्षण के मामले में इन विपक्षीय दलों का चुप्पी साधना ये दर्शाता है कि ये दोनों पार्टी आरक्षण विरोधी है।
एससी-एसटी आरक्षण के वर्गीकरण व क्रीमीलेयर को लेकर सर्वोच्च न्यायालय ने एक अगस्त को जो निर्णय किया है। इसको लेकर बसपा प्रमुख मायावती लगातार विरोध कर रही है। इसी क्रम में शनिवार को उन्होंने सोशल मीडिया के एक्स पर पोस्ट करते हुए कहा कि सपा एवं कांग्रेस आदि ये दल एससी-एसटी आरक्षण के समर्थम में तो अपने स्वार्थ व मजबूरी में बोलते हैं। सप्रीम कोर्ट के निर्णय को लेकर अभी तक चुप्पी साधे हैं, जो इनकी आरक्षण विरोधी सोच काे दर्शाता है। ऐसे में इन लोगों सजग रहना ही जरूरी है।
मायावती ने आगे कहा कि सपा व कांग्रेस आदि का चाल, चरित्र व चेहरा हमेशा एससी-एसटीए विरोधी रहा है, जिस क्रम में भारत बंद को सक्रिय समर्थन नहीं देना भी यह साबित करता है। वैसे भी आरक्षण सम्बंधी इनके बयानों से यह स्पष्ट नहीं है कि ये मा. कोर्ट के फैसले के पक्ष में हैं या विरोध में। ऐसी भ्रम की स्थिति क्यों?
बसपा प्रमुख ने कहा कि सपा, कांग्रेस व अन्य पार्टियाँ आदि आरक्षण के विरुद्ध फिर से अन्दर-अन्दर एक लगती हैं, तो फिर ऐसे में केवल एससी-एसटी ही नहीं बल्कि अन्य ओबीसी को भी अपने आरक्षण व संविधान की रक्षा तथा जातीय जनगणना की लड़ाई अपने ही बल पर बड़ी समझदारी से लड़नी है।