जीवन जीने के लिए है, यह हर कोई जानता है, लेकिन इसे जीये कैसें? इसी सोच में लोग उम्र गुजार देते हैं। चेहरे तो झूठ ही बोलते हैं, रिश्तों की हकीकत का जवाब तो वक्त ही देता है। जिसने ठोकरों से सीखा हो उसे गिराना बहुत मुश्किल है। याद रहे, प्यार और सम्मान खुद मिलते हैं इनका कोई बाजार नहीं होता।
कदमों को दोष मत दीजिए, केवल वक्त के साथ चलना सीखिए। तपिश को सहन करना जरूरी है, तभी आगे चलकर सफलता मिलती है।
दूसरों से अपेक्षाएं छोड़कर अपने से आशा करना शुरू करो तो सब कुछ अच्छा ही रहेगा। लोगों की जरूरत बनकर रहें तो ठीक है, परन्तु किसी पर बोझ बनकर न रहें। जीवन बदलने के लिए लड़ना पड़ता है और आसान बनाने के लिए समझना पड़ता है। ढूंढना है तो ख्याल करने वालों को ढूंढो, इस्तेमाल करने वाले तो आपको खुद ही ढूंढ लेते हैं। औरों की हैसियत बताना आसान है, परन्तु अपनी हैसियत याद रखना ही कठिन कार्य है।
जिंदगी एक बार नहीं रोज मिलती है, बस जीने का तरीका आना चाहिए। अहंकार तो कोई भी कर सकता है, बस विनम्रता सीखनी पड़ती है। आसान हालात होने से पहले तो सब कुछ मुश्किल ही नजर आता है, इसलिए अपना हौंसला बनाये रखें। झूठ बोलने के लिए जुबां चाहिए और सच के लिए आंखे ही काफी हैं। दुनिया तो सबके लिए एक ही है, बस देखने का नजरिया ही अलग-अलग होता है।