लखनऊ। इस साल जनवरी में 16वीं सदी के भक्ति कवि तुलसीदास द्वारा रचित रामायण पर आधारित महाकाव्य रामचरितमानस के पन्नों को फाड़ने और जलाने के मामले में तीन और लोगों पर राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (एनएसए) के तहत मामला दर्ज किया गया है। लखनऊ पुलिस ने 30 जनवरी को रामचरितमानस के अपमान के आरोप में नौ लोगों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की थी।
एनएसए दो आरोपियों मोहम्मद सलीम और सतेंद्र कुशवाहा पर 5 फरवरी को लगाया गया था।
एफआईआर में समाजवादी पार्टी के नेता स्वामी प्रसाद मौर्य का नाम भी जोड़ा गया है।
पुलिस ने अब तीन और आरोपियों देवेंद्र सिंह, यशपाल सिंह और सुरेश सिंह यादव के खिलाफ रासुका लगाया है।
पूर्वी जोन के अतिरिक्त पुलिस उपायुक्त (एडीसीपी) सैयद अली अब्बास ने कहा, एनएसए सलाहकार बोर्ड से मंजूरी मिलने के बाद तीनों पर एनएसए लगाया गया है।
सलाहकार बोर्ड में जिला मजिस्ट्रेट, लखनऊ पुलिस आयुक्त और एक उच्च न्यायालय के न्यायाधीश शामिल हैं।
एडीसीपी ने कहा कि, एसजीपीजीआई थाने में दर्ज मामले में एमएलसी स्वामी प्रसाद मौर्य समेत 10 लोगों को नामजद किया गया है।