नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार रात 8 बजे राष्ट्र को संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने आतंक के खिलाफ भारतीय सैन्य कार्रवाई की तारीफ की। अब इस पर कांग्रेस नेताओं की प्रतिक्रिया आनी शुरू हो गई है। उन्होंने केंद्र सरकार से संसद का विशेष सत्र बुलाने की मांग दोहराई। कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने समाचार एजेंसी आईएएनएस से बात करते हुए कहा, “पीएम मोदी के वक्तव्य को हमने सुना। उसके कुछ देर पहले अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का वक्तव्य भी सामने आया, जिसने हर भारतीय को परेशान किया। सिंदूर के साथ सौदा और ट्रेड नहीं हो सकता। ट्रंप ने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर ट्रेड रोकने की धमकी के कारण हुआ, जो हमें बिल्कुल स्वीकार्य नहीं है। हमें उम्मीद थी कि पीएम मोदी इस पर प्रतिक्रिया देंगे। हम 22 अप्रैल की शाम से मांग कर रहे हैं कि पीएम मोदी सामूहिक संकल्प का नेतृत्व करें और सर्वदलीय बैठक में शामिल हों, लेकिन वे नहीं आए। हम अपनी मांग दोहराते हैं कि संसद का विशेष सत्र बुलाया जाए।
” झारखंड कांग्रेस के नेता राकेश सिन्हा ने कहा, “देश की 140 करोड़ जनता चाहती थी, पीएम मोदी राष्ट्र के नाम संबोधन दें, लेकिन यह सुनने के बाद हमें लगा कि खोदा पहाड़ और निकली चुहिया। पीएम मोदी ने एक शब्द नहीं कहा कि क्या भारत दूसरे देश की मध्यस्थता को स्वीकार कर लिया? हमें लगता है पीएम मोदी ने बहुत कुछ राष्ट्र से छिपा लिया। उन्हें उस पर खुलकर बोलना चाहिए था। समझौते के तीन घंटे के अंदर पाकिस्तान ने गोलीबारी कर दी और हमारे जवान की शहादत ले ली। पीएम मोदी ने उस पर भी कुछ नहीं बोला।” उल्लेखनीय है कि सोमवार रात आठ बजे पीएम मोदी ने देश के नाम संबोधन में आतंकवाद को लेकर पाकिस्तान पर निशाना साधा। उन्होंने साफ किया कि पाकिस्तान से बात सिर्फ पीओके (पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर) और आतंक पर होगी। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, “मैं अंतरराष्ट्रीय समुदाय को यह भी बताना चाहूंगा कि हमारी घोषित नीति स्पष्ट रही है। अगर पाकिस्तान से बातचीत होगी तो वह सिर्फ आतंकवाद के बारे में होगी, अगर पाकिस्तान से बातचीत होगी तो वह सिर्फ पाक अधिकृत कश्मीर (पीओके) के बारे में होगी।”