वाराणसी। पितृपक्ष के अंतिम दिन अमावस्या पर शनिवार को अपने पूर्वजों का श्राद्ध तर्पण करने आए वृद्ध और किशोर अलग-अलग घाटों पर गंगा नदी में डूब गए। हृदय विदारक घटना से डूबे वृद्ध और किशोर के परिजनों में कोहराम मच गया। गोताखोर दोनों की तलाश में देर तक जुटे रहे लेकिन सफलता नही मिली।
बरेका निवासी जितेंद्र सिंह थापा (60 वर्ष) अपने भतीजे संतोष कुमार के साथ अपरान्ह में पूर्वजों का पिंडदान के लिए अस्सी घाट आए थे। पिंडदान के बाद गंगा स्नान करते समय वह गंगा की लहरों में समा गये।
घटना की जानकारी संतोष को भी कुछ देर बाद हुई। संतोष ने पुलिस को बताया कि चाचा जितेंद्र तैराक है इसलिए लगा कि गंगा में डूब कर स्नान कर रहे है। इसी क्रम में सारनाथ थाना क्षेत्र के सगरा तालाब-पंचकोशी निवासी श्रवण कुमार पत्नी और पुत्र अतुल कुमार (14)के साथ पिंडदान करने के लिए नमो घाट पर आए हुए थे। पिंडदान के पूर्व गंगा स्नान करते समय अतुल डूब गया ।
परिजनों के शोर मचाने पर आसपास मौजूद मल्लाहों ने उसे बचाने की कोशिश की लेकिन तब तक अतुल गहरे पानी में समा गया। सूचना पर एनडीआरएफ भी पहुंच गई थी। काफी तलाश के बाद भी उसका कुछ पता नहीं चला।
हादसे की सूचना पर परिजनों में कोहराम मच गया। परिजन भी घाट पर पहुंच गए। अपने सामने बेटे को गंगा में समाते देख अतुल की मां की हालत बिगड़ गई ।