पटना। बिहार में छात्रों के प्रदर्शन को लेकर स्थिति काफी तनावपूर्ण है। खान सर का नाम इसमें प्रमुखता से आ रहा है। हालांकि, इस मामले में पुलिस और छात्रों के बीच बयानबाजी में अंतर है। पटना के एसएसपी राजीव मिश्रा ने स्पष्ट किया है कि खान सर को गिरफ्तार नहीं किया गया है, लेकिन छात्रों का दावा है कि उन्हें पुलिस ने पहले हिरासत में लिया और बाद में छात्रों के दबाव के कारण रिहा किया।
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छात्रों का आरोप है कि बीपीएससी परीक्षा में लागू की गई नॉर्मलाइजेशन नीति के कारण उम्मीदवारों के बीच समानता खत्म हो रही है। नॉर्मलाइजेशन के तहत परीक्षा में अलग-अलग सेट के प्रश्नपत्र होते हैं, जिससे स्कोरिंग में भिन्नता आती है। छात्रों का कहना है कि यह नीति असमानता को बढ़ावा देती है।
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खान सर ने प्रदर्शनकारियों का समर्थन करते हुए कहा, “जब तक नॉर्मलाइजेशन नीति खत्म नहीं होगी, आंदोलन जारी रहेगा। बीपीएससी को औपचारिक रूप से यह घोषणा करनी होगी कि यह नीति रद्द की जा रही है।” उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि बीपीएससी में बड़े पैमाने पर गड़बड़ियां हो रही हैं और डीएसपी व एसडीएम की सीटें बेची जा रही हैं।
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गुरुवार को खबरें आईं कि खान सर को पटना पुलिस ने प्रदर्शन के दौरान गिरफ्तार कर लिया है और उन्हें गर्दनीबाग थाने ले जाया गया है। इस घटना को लेकर छात्रों में आक्रोश फैल गया।
हालांकि, पटना के एसएसपी राजीव मिश्रा ने इन खबरों को खारिज करते हुए कहा, “खान सर को न तो गिरफ्तार किया गया है और न ही हिरासत में लिया गया है। यह पूरी तरह से अफवाह है।”
लेकिन छात्रों का दावा है कि पुलिस ने खान सर को पहले हिरासत में लिया और बाद में छात्रों के दबाव के कारण रिहा कर दिया।
छात्रों को संबोधित करते हुए खान सर ने कहा, “हम तब तक पीछे नहीं हटेंगे, जब तक आयोग अपना रुख नहीं बदलता। परीक्षा में सभी उम्मीदवारों को समान अवसर मिलना चाहिए। एक ही सेट का प्रश्नपत्र लागू होना चाहिए। बीपीएससी को छात्रों की समस्याओं पर ध्यान देना होगा।”
प्रदर्शनकारी छात्रों ने बीपीएससी कार्यालय के बाहर डेरा डाल रखा है। उनका कहना है कि जब तक नॉर्मलाइजेशन नीति खत्म नहीं होगी, वे आंदोलन जारी रखेंगे। छात्रों ने यह भी मांग की है कि बीपीएससी इस मुद्दे पर औपचारिक बयान जारी करे।