नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मॉरीशस के प्रधानमंत्री प्रविंद जगन्नाथ ने गुरुवार को वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से मॉरीशस के अगालेगा द्वीप में छह सामुदायिक विकास परियोजनाओं के साथ-साथ नई हवाई पट्टी और सेंट जेम्स जेट्टी का संयुक्त रूप से उद्घाटन किया। मॉरीशस के लोगों को भारत में बनी बेहतर क्वालिटी वाली जेनेरिक दवाइयों का लाभ देने के लिए द्वीपीय देश अपने यहां जन औषधी केन्द्र खोलेगा।
प्रधानमंत्री मोदी ने इस दौरान अपने संबोधन में कहा कि मॉरीशस भारत का एक मूल्यवान मित्र है। प्रधानमंत्री ने द्वीप राष्ट्र में भारत की विकास पहल पर प्रकाश डाला और कहा कि आज जिन परियोजनाओं का उद्घाटन किया गया है, वे हमारे देशों के बीच साझेदारी को और मजबूत करेंगी।
मोदी ने कहा कि मॉरीशस हमारी ‘नेबरहुड फर्स्ट’ पॉलिसी का अहम भागीदार है। हमारे विजन ‘सागर’ के अंतर्गत मॉरीशस हमारा विशिष्ट सहयोगी है। ग्लोबल साउथ का सदस्य होने के नाते हमारी समान प्राथमिकताएं हैं। पिछले छह महीनों में यह हमारी पांचवीं बैठक है। यही तथ्य भारत और मॉरीशस के बीच जीवंत, मजबूत और अद्वितीय साझेदारी को व्यक्त करता है।
उन्होंने कहा कि भारत ने हमेशा मॉरीशस की जरूरतों का सम्मान किया है। संकट कोविड महामारी का हो या तेल रिसाव का, भारत हमेशा अपने मित्र मॉरीशस के लिए फर्स्ट रिस्पांडर रहा है। प्रधानमंत्री ने कहा कि पिछले 10 वर्षों में हमारे संबंधों में अभूतपूर्व मजबूती आई है। आज हमने आपसी सहयोग की नई ऊंचाईयां हासिल की हैं। साथ ही, हमारे सांस्कृतिक और ऐतिहासिक संबंध पहले से कहीं अधिक मजबूत हुए हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत और मॉरीशस, समुद्री सुरक्षा के क्षेत्र में स्वाभाविक साझेदार हैं। हिंद महासागर क्षेत्र में अनेक पारंपरिक और गैर-पारंपरिक चुनौतियां उभर रही हैं। ये सभी चुनौतियां हमारी अर्थव्यवस्था को प्रभावित करती हैं। इनसे निपटने के लिए भारत और मॉरीशस समुद्री सुरक्षा के क्षेत्र में स्वाभाविक साझेदार हैं।
भारत की तर्ज पर मॉरीशस में जन औषधि केंद्र खोलने के निर्णय पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि वे प्रधानमंत्री जगन्नाथ की सराहना करता हैं कि उन्होंने मॉरीशस में जन औषधि केंद्र खोलने का निर्णय लिया है। उन्होंने कहा कि मॉरीशस पहला देश होगा जो हमारी जन-औषधि पहल से जुड़ेगा। इससे मॉरीशस के लोगों को भारत में बनी बेहतर क्वालिटी वाली जेनेरिक दवाइयों का लाभ मिलेगा।
उल्लेखनीय है कि हाल ही में 12 फरवरी को दोनों नेताओं ने मॉरीशस में यूनीफाइड पेमेंट इंटरफेस (यूपीआई) और रूपे कार्ड सेवाओं का शुभारंभ किया गया था।