नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल में महिला डॉक्टर के साथ बलात्कार और हत्या के विरोध में दिल्ली के आरएमएल कॉलेज के मेडिकल छात्रों का बुधवार को भी प्रदर्शन जारी है। प्रदर्शनकारी पश्चिम बंगाल में हुए दुष्कर्म के खिलाफ जमकर नारेबाजी कर रहे हैं। प्रदर्शनकारी कुमारी अर्चना ने कहा कि यह बहुत दुखद है कि सरकार ने इस मामले में हमारी एक भी मांग पूरी नहीं की। हाईकोर्ट के हस्तक्षेप के बाद सीबीआई जांच के आदेश दिए गए हैं। केंद्रीय संरक्षण अधिनियम (सीपीए) को लेकर कोई आश्वासन नहीं दिया जा रहा है।
सरकार हमें बेवकूफ बना रही है। उन्हें लग रहा है कि हम हड़ताल खत्म कर देंगे और सरकार फिर से अपने पुराने ढर्रे पर आ जाएगी। जब तक हमें न्याय नहीं मिल जाता, हम विरोध प्रदर्शन जारी रखेंगे। दूसरे प्रदर्शनकारी आकाश ने कहा कि हमारा विरोध अभी भी जारी है।
स्वास्थ्य मंत्रालय ने हमें कोई ठोस आश्वासन नहीं दिया है। केंद्रीय संरक्षण अधिनियम (सीपीए) कब लागू किया जाएगा, इसकी कोई जानकारी नहीं दी है। डॉक्टर अपनी बुनियादी जरूरतों के लिए विरोध कर रहे हैं। उन्होंने आगे कहा कि हम चाहते हैं कि हमारी मांगें पूरी की जाए और हमारी व्यवस्था को सुरक्षित बनाया जाए ताकि हमारी लड़कियां, मेडिकल की छात्राएं या डॉक्टर किसी के दबाव में काम न करें। हम सीबीआई जांच का स्वागत करते हैं। यह हमारी पहली जीत है। मामले की जांच सीबीआई करेगी। हमने कल भी सबूत देखे कि अस्पताल का स्टाफ सबूतों से छेड़छाड़ करने की कोशिश कर रहा है। कुछ कर्मचारी सबूतों को छिपाने की कोशिश कर रहे हैं। हम यह भी मांग करते हैं कि जब तक यह जांच चल रही है, तब तक वहां के सभी कर्मचारियों को हटा दिया जाए।
बता दें कि कलकत्ता हाईकोर्ट ने मंगलवार को आरजी कर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में महिला जूनियर डॉक्टर के साथ कथित बलात्कार और हत्या की सीबीआई जांच का आदेश दिया है। इस मामले की जांच के लिए सीबीआई की टीम बुधवार को कोलकाता पहुंच गई। जानकारी के अनुसार, सीबीआई की टीम डॉक्टर से दुष्कर्म और उसकी हत्या के मामले की जांच करेगी। सात लोगों का एक प्रतिनिधिमंडल आज कोलकाता पहुंचा है।