Tuesday, November 5, 2024

सहारनपुर तीन दिन से हो रही मूसलाधार बारिश से जनजीवन अस्त-व्यस्त, कई मार्ग हुए ध्वस्त

सहारनपुर। तीन दिन से शिवालिक पहाड़ियों एवं मैदानी इलाकों में लगातार हो रही मूसलाधार बारिश के चलते जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है वहीं देर रात हथिनीकुंड बैराज से 3,00,000 क्यूसेक पाककशकनी यमुना नदी में छोड़े जाने से तटवर्तीय क्षेत्रों व देश की राजधानी दिल्ली में बाढ़ का खतरा उत्पन्न हो गया है। ये ही नहीं यमुना के किनारे बसे गांवों में लोगों के घरों में पानी घुस गया है। बाढ़ के खतरें को देखते हुए तटवर्ती इलाकों से प्रशासन ने लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाना शुरू कर दिया हैं। तहसीलदार प्रकाश सिंह ने बताया कि प्रशासन ने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र साढौली कदीम पर बाढ़ राहत शिविर बनाया गया हैं।

तीन दिन से शिवालिक पहाड़ियों एवं मैदानी क्षेत्रों में रूक रूककर हो रही मूसलाधार बारिश के चलते हथिनीकुंड बैराज से सोमवार को सुबह 8-15 बजे 2,80,000 क्यूसेक, 10-00 बजे 3,00,000 क्यूसेक, 11-00 बजे 2,54,000 क्यूसेक तथा 12-00 बजे 2,17,000 क्यूसेक पानी छोड़े जाने से तटवर्तीय इलाकों में बाढ़ का खतरा उत्पन्न हो गया है। तटवर्ती गांवों के लोगों को प्रशासन द्वारा सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा रहा हैं। तहसीलदार प्रकाश सिंह ने बताया कि बाढ़ राहत कार्यों में प्रशासन पूरी तरह से मुस्तैद हैं। लोगों को किसी भी तरह की परेशानी न हो इसके लिए हरसंभव प्रयास किए जा रहे हैं।

 

गंदेवड़ चिलकाना मार्ग भी हुआ ध्वस्त

 

बेहट। मूसलाधार बारिश के चलते गंदेवड़ चिलकाना मार्ग भी ध्वस्त हो गया है। ग्राम सलेमपुर व पठेड के बीच सड़क के बीचोंबीच लगभग 15-20 फीट गहरा गड्ढा हो गया है जिसके चलते गंदेवड़ चिलकाना मार्ग पूरी से बंद कर दिया गया हैं। जिस कारण ग्रामीणों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा हैं ‌

 

राजवाहा टूटने से नानौली गांव हुआ जलमग्न

बेहट। विकास खंड साढौली कदीम अंतर्गत ग्राम नानौली के पास बह रहे राजबाहे के टूट जाने से पूरा गांव जलमग्न हो गया है। लोगों के घरों में पानी के घुस जाने से घरेलू सामान भी खराब हो गया है। घरों में पानी भर जाने से लोगों का जीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। राजबाहे के टूटने की सूचना मिलते ही तहसीलदार प्रकाश सिंह राजस्व विभाग के कर्मचारियों के साथ गांव में पहुंच गए हैं ओर पानी में फंसे लोगों को निकाल कर सुरक्षित स्थानों पर भिजवाया जा रहा हैं। उन्होंने बताया कि बाढ़ राहत शिविर साढौली कदीम स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर बनाया गया है। पानी से प्रभावित लोगों को शिविर में भेजा जा रहा हैं।

वहीं दूसरी ओर ग्राम साढौली कदीम में तालाब का पानी लोगों के घरों में घुस गया जिसके चलते घरों में रखा सामान भी खराब हो गया है। जल भराव से लगभग दो दर्जन परिवार प्रभावित हुए हैं जिनमें मुख्य रूप से शरद शर्मा, रामकुमार, वेणुगोपाल, शिवकुमार, सतपाल, सुरेश पाल, सौरण, रोशनलाल, डॉ विशाल शर्मा, पंकज, विकास आदि शामिल हैं जिनको प्रशासन के द्वारा पानी से निकालकर स्थानीय सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में बनाएं गये बाढ़ राहत शिविर में रखा गया हैं तहसीलदार प्रकाश सिंह ने बताया कि स्थानीय जनप्रतिनिधियों जैसे साढौली कदीम के ग्राम प्रधान शेखर राणा आदि को साथ लेकर बाढ़ से प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थानों पर भेजने के साथ साथ उनके लिए प्रशासन की ओर से खाने की समुचित व्यवस्था कर दी गई हैं।

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