जयपुर। कांग्रेस की केन्द्रीय चुनाव समिति (सीईसी) की बुधवार सुबह दिल्ली में हुई बैठक में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने राजस्थान में उम्मीदवारों को लेकर सिटिंग-गेटिंग का फार्मूला दिया है। इन सबके बीच कुछ ऐसे निर्विवाद नाम हैं, जिन पर फैसला लगभग तय हो गया है, जबकि कुछ नामों पर मंथन का दौर जारी है।
अब तक कांग्रेस पार्टी में लगातार यह दावे किए जा रहे थे कि पार्टी इस बार राजस्थान में बड़ी संख्या में वर्तमान मंत्रियों और विधायकों के टिकट काटेगी, लेकिन मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सिटिंग-गेटिंग का फार्मूला मजबूती के साथ रख दिया है। ऐसे में अब तक जहां कहा जा रहा था कि राजस्थान में करीब 50 फीसदी टिकट वर्तमान विधायकों के काटे जा सकते हैं, वह फार्मूला अब सिटिंग-गेटिंग यानी ज्यादातर वर्तमान विधायकों को फिर से टिकट देने में तब्दील हो सकता है।
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत वर्तमान विधायकों के टिकट नहीं काटने के पक्ष में हैं, जिन्हें डोटासरा और रंधावा का भी समर्थन है। अगर यही फार्मूला चलता है तो सचिन पायलट कैंप के ज्यादातर विधायकों को टिकट मिल जाएगा। संभावना है कि ऐसे में पायलट भी इसमें ज्यादा विरोध नहीं करेंगे। हालांकि, जिन 80 सीटों पर कांग्रेस या कांग्रेस के समर्थित निर्दलीय विधायक नहीं है वहां पर 50 फीसदी से ज्यादा टिकट बदले जाने की पूरी संभावना है।
इससे पूर्व मंगलवार देर रात तक चली स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक में करीब 60 नामों पर सिंगल कैंडिडेट लगभग तय हो चुका है। शेष 140 सीटों पर कांग्रेस इलेक्शन कमेटी में मंथन चल रहा है। पार्टी शुरुआत में पहली सूची में अगर गैर विवादित सीटों पर प्रत्याशी उतारती है तो ऐसे में इन सीटों पर सिंगल नाम तय माना जा रहा है।
केन्द्रीय चुनाव समिति की राजस्थान को लेकर हो रही बैठक में कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी, राहुल गांधी, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, प्रदेश अध्यक्ष गोविंद डोटासरा, प्रभारी सुखजिंदर सिंह रंधावा, गौरव गोगोई, केसी वेणुगोपाल, अजय माकन, सलमान खुर्शीद, अमृता धवन, काजी निजामुद्दीन और केएल पूनिया मौजूद हैं।