नोएडा। जनपद गौतमबुद्धनगर के लगभग 250 गांवों के किसानों की समस्याओं को सुलझाने के मकसद से नव गठित संयुक्त किसान मोर्चा 25 नवंबर को महापंचायत करने की तैयारी में जुट गया है। गांवों में जन समर्थन जुटाने के लिए पंचायतें की जा रही है। किसान संगठनों का कहना है कि यह महापंचायत अंतिम और निर्णायक होगा। इस दौरान संयुक्त किसान मोर्चा में शामिल 10 किसान संगठनों द्वारा जो निर्णय लिया जायेगा, उसके अनुसार आगे की कार्रवाई की जायेगी।
25 नवंबर को ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण पर संयुक्त किसान मोर्चा की होने वाली महापंचायत की तैयारियों को लेकर रविवार को पाली गांव में किसान संगठनों की पंचायत हुई। पंचायत की अध्यक्षता बाबा संत राम ने तथा संचालन प्रशांत ने किया। पंचायत में 10 फीसदी प्लाट एवं नए कानून के मुद्दे पर गहराई से विचार-विमर्श हुआ। ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण से पीड़ित सैंकडों किसानों ने महापंचायत में शामिल होने की बात कही।
ककरौली में नहीं आये अखिलेश, जनसभा से मायूस लौटी जनता, हरेंद्र मलिक ने जनता में भरा जोश
किसान सभा के संयोजक वीर सिंह नागर ने कहा कि किसान सभा अन्य सभी संगठनों के साथ मिलकर संयुक्त किसान मोर्चा के बैनर पर 10 फीसदी प्लाट एवं नए कानून की लड़ाई को पार करके ही दम लेगी। किसान सभा के जिलाध्यक्ष डा. रुपेश वर्मा ने कहा कि प्राधिकरण और सरकार को यह बात अच्छी तरह समझ लेनी चाहिए कि साढे़ तीन लाख से भी अधिक किसान 10 फीसद प्लाट के मुद्दे से प्रभावित है। उन्होंने साफ शब्दों में कहा कि जिले में तब तक शांति संभव नहीं है जब तक किसानों की उक्त वाजिब मांग को हल नहीं किया जाता। ग्राम पाली में हुई पंचायत में श्याम सिंह प्रधान, श्याम सिंह भाटी, रामसेवक सिंह, अमित भाटी, विशेष भाटी, अशोक भाटी सहित भारी संख्या में महिलाएं एवं युवा शामिल हुए।
मुज़फ्फरनगर नगरपालिका में खरीदी जा रही एलईडी लाइटों का सैंपल फेल, BJP सभासद ने की थी शिकायत
बता दें कि जनपद गौतमबुद्व नगर में अलग-अलग गुटों में रहकर किसानों के पक्ष में आंदोलन करने लगभग 10 किसान संगठनों ने एक मंच पर एकत्र होकर संयुक्त किसान मोर्चा का गठन किया है। संयुक्त किसान मोर्चा में भारतीय किसान परिषद, अखिल भारतीय किसान सभा, जय जवान जय किसान मोर्चा, किसान एकता संघ, भारतीय किसान यूनियन टिकैत, किसान यूनियन महात्मा, कृषक शक्ति सिस्टम सुधार संगठन, किसान मजदूर संघर्ष मोर्चा सहित अन्य संगठन शामिल है। इन किसान संगठनों को अब यह बात समझ में आ गई है कि एकजुट होने से ही किसानों की समस्याओं का समाधान हो सकता है। संयुक्त किसान मोर्चा में शामिल किसान नेताओं का कहना है कि नव गठित इस मोर्चा में जिले के अन्य किसान संगठनों ने भी शामिल होने के लिए संपर्क साधा है।