पटना- संपूर्ण क्रांति के जनक लोकनायक जय प्रकाश नारायण (जेपी) ने रामविलास पासवान को वर्ष 1977 में हाजीपुर से चुनाव लड़ने के लिये 10 हजार रुपये दिये थे।
दलितों के करिश्माई नेता रामविलास पासवान ने अपने संसदीय सफर की शुरूआत वर्ष 1977 में हाजीपुर सीट से की थी। हालांकि इससे पहले ही वह वर्ष 1969 में अलौली से विधायक बन गये थे। आपातकाल के समय वह आंतरिक सुरक्षा व्यवस्था अधिनियम (मीसा) कानून के तहत जेल में बंद थे। जेल से छूटने के बाद जेपी ने उनसे हाजीपुर से चुनाव लड़ने को कहा था। रामविलास के पास उस समय पैसे नहीं थे। जेपी ने तब रामविलास को दस हजार रूपये चुनाव लड़ने के लिये दिये थे।लेकिन लोगों ने इतने चंदे दे दिए कि रामविलास को जेपी से मिले दस हजार रूपये खर्च करने की जरूरत ही नहीं पड़ी।
रामविलास ने उस समय अधिवक्ता उमेश शाही के यहां शरण ली थी। चुनाव के बाद अचानक शाही जी ने फोन करके बताया कि उनका 10 हजार रुपया वैसे ही जस का तस बक्सा में रखा हुआ है। तब रामविलास ने कहा कि अब तो उस पैसे की कोई जरूरत नहीं है। बाद में रामविलास ने दस हजार रूपये जनता पार्टी फंड में जमा करा दिये थे।
श्री पासवान ने भारतीय लोकदल के टिकट पर वर्ष 1977 में हाजीपुर से चुनाव लड़ा और कांग्रेस उम्मीदवार बालेश्वर राम को सवा चार लाख से ज़्यादा मतों से हराकर पहली बार लोकसभा में पैर रखा था। श्री पासवान का नाम गिनीज़ बुक ऑफ़ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में शामिल हो गया। राम विलास पासवान ने इसके बाद हाजीपुर से आठ बार चुनाव जीता।
पूर्व केन्द्रीय मंत्री दिवंगत राम विलास के पुत्र जमुई (सु) के सांसद चिराग पासवान इस बार के चुनाव में हाजीपुर (सु) से अपनी किस्मत आजमां रहे हैं। हाजीपुर संसदीय सीट पर 20 मई को चुनाव होगा।