सोल। उत्तर कोरिया अगले महीने एक महत्वपूर्ण संसदीय बैठक आयोजित करेगा। बैठक में मुख्य रूप से देश के संविधान में संशोधन किया जाएगा। यह जानकारी सोमवार को राज्य मीडिया ने दी। इससे पहले उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग-उन ने दक्षिण कोरिया को अपना मुख्य दुश्मन बताने के लिए संवैधानिक संशोधन का आह्वान किया था।
कोरियन सेंट्रल न्यूज एजेंसी (केसीएनए) के अनुसार, 14वीं सुप्रीम पीपुल्स असेंबली (एसपीए) का 11वां सत्र 7 अक्टूबर को प्योंगयांग में आयोजित किया जाएगा। योनहाप समाचार एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार, जनवरी में एसपीए की बैठक में उत्तर कोरिया के नेता ने संविधान में संशोधन कर दक्षिण कोरिया को अपना प्रमुख शत्रु बताया था। वहीं, युद्ध की स्थिति में दक्षिण कोरियाई क्षेत्र पर पूर्ण कब्जा करने की प्रतिबद्धता भी दोहराई थी। किम ने संवैधानिक संशोधन की समीक्षा करने का आदेश जारी किया, जिससे एकीकरण संबंधी धाराएं हटा दी गईं तथा समुद्री सीमा सहित देश की क्षेत्रीय सीमाओं को नए सिरे से निर्धारित किया गया। दिसंबर में साल के अंत में पार्टी की बैठक में उन्होंने अंतर-कोरियाई संबंधों को “एक दूसरे के प्रति शत्रुतापूर्ण दो राज्यों” के बीच संबंधों के रूप में परिभाषित किया।
उन्होंने दक्षिण को सुलह और एकीकरण के समकक्ष के रूप में नहीं मानने की कसम खाई। दक्षिण कोरिया के एकीकरण मंत्रालय ने पहले कहा था कि उत्तर कोरिया अपनी अगली एस.पी.ए. बैठक में 1991 में हस्ताक्षरित अंतर-कोरियाई बुनियादी समझौते को रद्द कर सकता है। बता दें कि 1991 के समझौते के तहत अंतर-कोरियाई संबंधों को एक विशेष संबंध के रूप में परिभाषित किया गया था। केसीएनए ने कहा कि देश के समाजवादी संविधान में संशोधन और उसे त्रुटि मुक्त (पूरक) करने के साथ ही उत्तर कोरिया हल्के उद्योग और बाह्य आर्थिक मामलों पर कानूनों पर विचार-विमर्श और उन्हें अपनाने तथा गुणवत्ता नियंत्रण कानून के प्रवर्तन की निगरानी के मुद्दे पर भी चर्चा करेगा। गौरतलब है कि एसपीए उत्तर कोरिया के संविधान के तहत राज्य सत्ता का सर्वोच्च अंग है, लेकिन वास्तव में यह सत्तारूढ़ वर्कर्स पार्टी के निर्णयों पर केवल मुहर लगाता है। इस बीच, उत्तर कोरिया द्वारा नए एसपीए प्रतिनिधियों को चुनने के लिए शीघ्र ही चुनाव कराने की संभावना है, क्योंकि उसने अगले महीने संसदीय बैठक बुलाने की घोषणा की है।
उत्तर कोरिया ने मार्च 2019 में पांच साल के कार्यकाल के लिए 14वें एसपीए के लिए प्रतिनिधियों का चुनाव किया था। इसलिए उसे मार्च में नए प्रतिनिधियों का चुनाव करना था। हालांकि, शासन ने नए एसपीए प्रतिनिधियों के चुनाव के कार्यक्रम की सार्वजनिक सूचना भी नहीं दी है। विशेषज्ञों का कहना है कि उत्तर कोरिया ने चुनाव स्थगित कर दिया है क्योंकि वह अपने नेता किम के आदेशानुसार संवैधानिक संशोधन की समीक्षा पर काम कर रहा था।