काठमांडू। जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हाल ही में हुए आतंकवादी हमले के विरोध में काठमांडू में पाकिस्तानी दूतावास के पास विरोध प्रदर्शन हुआ। हमले में 25 भारतीय और एक नेपाली नागरिक की मौत हो गई थी। इस हमले ने पूरी दुनिया को झकझोर कर रख दिया। सभी ने एक स्वर में हमले की निंदा की और आतंकवादियों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई का समर्थन किया। राष्ट्रीय प्रजातंत्र पार्टी ने पाकिस्तान समर्थित आतंकवाद की निंदा करते हुए बैनर लेकर मार्च निकाला।
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नेपाली नागरिक अभियान, नागरिक युवाशक्ति नेपाल और राष्ट्रीय एकता अभियान ने शनिवार को देश की राजधानी में पाकिस्तान दूतावास के पास विरोध प्रदर्शन किया। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक प्रदर्शनकारियों ने नेपाल में पाकिस्तान दूतावास को आतंकवादी हमलों की निंदा करते हुए एक नोट सौंपा और मांग की कि पाकिस्तान आतंकवाद का समर्थन करना बंद करे। इससे पहले शुक्रवार को नई दिल्ली में विदेश मंत्री जयशंकर ने नेपाल के राजदूत शंकर शर्मा से मुलाकात की और पहलगाम आतंकी हमले में एक नेपाली नागरिक की मौत पर अपनी संवेदना व्यक्त की। उन्होंने भारत-नेपाल द्विपक्षीय संबंधों पर भी चर्चा की।
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नेपाल के राजदूत ने घातक आतंकी हमले के बाद भारत के साथ मजबूत एकजुटता व्यक्त की। शंकर शर्मा ने एक्स पर पोस्ट में कहा, “आज विदेश मंत्री एस जयशंकर के साथ पहलगाम आतंकी हमले पर अपनी गहरी संवेदना और भारत के साथ दृढ़ एकजुटता व्यक्त की। उन्होंने नेपाली नागरिक सुदीप न्यौपाने की मौत पर संवेदना व्यक्त की। हमने अपने समग्र नेपाल-भारत संबंधों की भी समीक्षा की।”
आतंकियों ने 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर में एक लोकप्रिय पर्यटन स्थल – पहलगाम स्थित बैसरन घाटी में लोगों (ज्यादातर पर्यटक) पर अंधाधुंध गोलियां चला दी थीं। हमले में कम से कम 26 लोगों की मौत हो गई और कई अन्य घायल हो गए। हमले के बाद नई दिल्ली ने इस्लामबाद के खिलाफ कई सख्त कूटनीतिक और रणनीतिक कदम उठाए हैं। इनमें 1960 के सिंधु जल समझौते को तुरंत प्रभाव से निलंबित करने, अटारी इंटिग्रेटेड चेक पोस्ट को बंद करने, पाकिस्तानी नागरिकों के लिए वीजा सेवाओं को तत्काल प्रभाव से निलंबित करने, जैसे कई कदम उठाए हैं।