सहारनपुर। अपर सत्र न्यायाधीश/एफटीसी प्रथम ने दुष्कर्म के दोषी आशू निवासी गांव मुंशीपुरा कोतवाली नकुड़ को दस वर्ष के कारावास की सजा सुनाई है। दोषी पर 40 हजार का अर्थदंड लगाया है। परिवार के सदस्यों को दोषमुक्त कर दिया है। पीड़िता ने कोतवाली गंगोह में दो फरवरी 2017 को रिपोर्ट दर्ज कराई थी।
आरोप लगाया था कि उसके रिश्तेदार आशू का उनके घर आना-जाना था। आशु ने शादी का झांसा देकर उसके साथ दुष्कर्म किया। जब वह गर्भवती हो गई तो आशु और उसके घर वालों ने सगाई करने की बात कहकर उसका गर्भपात करा दिया। इसके बाद आशू की शादी किसी दूसरी लड़की से तय कर दी। कोतवाली गंगोह पुलिस ने आशु और परिवार के छह सदस्यों के खिलाफ केस दर्ज किया था।
जांच के बाद अदालत में आरोप पत्र दाखिल किया। मामले की सुनवाई के उपरांत साक्ष्यों और गवाहों के आधार पर अदालत ने आशू को दस वर्ष के कारावास की सजा सुनाने के साथ 40 हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया है। बाकी आरोपियों को दोष मुक्त कर दिया है।