हम कई दुकानों पर यह वाक्य लिखा देखते हैं ‘आज नकद कल उधार अर्थात आज नकद लो उधार की बात कल करना। दुकानदार जानता है कि कल कभी नहीं आयेगी, किन्तु व्यवहारिक जीवन में हम आज का काम कल पर टाल देते हैं।
हम नहीं जानते कि कल पर टालकर अपने आज की हानि कर रहे हैं। भारत को एक बार में ही मंगल पर यान भेजने में सफलता मिली। चन्द्रयान 2 मिशन में हमारे वैज्ञानिकों को जो सफलता मिली, वह कल पर काम टालने की प्रकृति की बदौलत नहीं, बल्कि आज का काम आज ही करने की सोच और दृढ इच्छाशक्ति के कारण मिली है।
विज्ञान आज के तर्कों के हिसाब से चलता है। कल क्या होगा, कैसा होगा, इसे कल पर छोड देना ही बेहतर होता है। कल के सहारे जीवन नहीं गुजारा जा सकता, न हीं सफलता का स्वाद ही चखा जा सकता है। कल के लिए हमारे पास कई योजनाएं होती हैं, परन्तु उन्हें आकार तो आज की सोच के हिसाब से मिलता है।
आज का काम कल पर टाल देने से शायद ही कोई समाज या देश उन्नति की राह पर चल पायेगा, जो भी करना है उसे आज में रहकर ही करना चाहिए, स्मरण रखे भविष्य का रास्ता वर्तमान की गली से होकर ही गुजरता है। आज को संवार लो फिर कल के बेहतर होने से कोई नहीं रोक सकता।