वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने डिजिटल टूल्स के इस्तेमाल पर की चर्चा, प्रक्रियाओं को आसान और पारदर्शी बनाना उद्देश्य
नई दिल्ली। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को प्रक्रियाओं को आसान बनाने, रेगुलेटरी अनुमान, विभागों के बीच तालमेल से काम करने, फंड के कुशल प्रवाह, भविष्य के लिए तैयार टैक्स एडमिनिस्ट्रेशन, लगातार ग्रोथ के लिए फाइनेंसिंग के तरीके और पारदर्शिता, दक्षता और जवाबदेही के लिए डिजिटल टूल्स के इस्तेमाल करने पर चर्चा की। सीतारमण ने कॉर्पोरेट मामलों के राज्य मंत्री हर्ष मल्होत्रा के साथ मिलकर कर्नाटक के विजयनगर जिले के हम्पी में वित्त मंत्रालय और कॉर्पोरेट मामलों के मंत्रालय के चिंतन शिविर की अध्यक्षता की।
सीतारमण ने विजयनगर क्षेत्र के ऐतिहासिक महत्व पर भी बात की, यह देखते हुए कि यह सिर्फ 500 साल पहले अपने चरम पर एक भारतीय साम्राज्य के सबसे करीबी उदाहरणों में से एक का प्रतिनिधित्व करता है, जिसकी छाप उपमहाद्वीप के बड़े हिस्सों में दिखाई देती है। उन्होंने उसी जिले के विरोधाभास पर भी ध्यान दिलाया, जहां शानदार स्मारक सूखे से प्रभावित क्षेत्रों के साथ मौजूद हैं, जहां कम कृषि उत्पादकता और मानव-पशु संघर्ष है, जो आज की विकास संबंधी वास्तविकताओं से जुड़े रहने की आवश्यकता पर जोर देता है।
इससे पहले दिन में, सीतारमण ने कर्नाटक के सरकारी स्कूलों में पांच आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, एसटीईएम और रोबोटिक्स लैब विकसित करने के लिए एक कॉर्पोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी (सीएसआर) प्रोजेक्ट लॉन्च किया। मंत्री ने साइएंट एआई लैब्स- 'विजआईपथा' लॉन्च किया, जो कर्नाटक के हम्पी में होसपेटे तालुक के सरकारी स्कूलों में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, एसटीईएम और रोबोटिक्स शिक्षा तक पहुंच को लोकतांत्रिक बनाने के लिए एक सीएसआर-नेतृत्व वाली राष्ट्रीय पहल है।
