सहारनपुर। जिलाधिकारी डॉ.दिनेश चन्द्र ने निर्देश दिए कि शिकायत के निस्तारण के बाद शिकायतकर्ता से फीडबैक भी लिया जाए। साथ ही शिकायत के निस्तारण के समय संबंधित स्थल का जिओ टैग फोटो, गवाहों के हस्ताक्षर के उपरान्त की आख्या पोर्टल पर अपलोड की जाए।
उन्होने अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि मुख्यमंत्री जन शिकायतों एवं समस्याओं के निस्तारण के प्रति गंभीर एवं संवेदनशील हैं। समय से शिकायतों, समस्याओं का निस्तारण न कर आप शासन के निर्देशों का सीधे तौर पर उल्लंघन कर रहे हैं, जोकि किसी भी स्थिति में क्षम्य नहीं। उन्होंने कहा कि शासन के निर्देशों का उल्लंघन करने पर लापरवाह व दोषी अधिकारियों के विरुद्ध कठोरतम कार्रवाई की जाएगी।
जिलाधिकारी डॉ.दिनेश चन्द्र कलेक्ट्रेट सभागार में आईजीआरएस पोर्टल पर शिकायतों के गुणवत्तापूर्ण निस्तारण के संबंध में विद्युत विभाग के अधिकारियों एवं कर्मचारियों की बैठक ले रहे थे। डॉ.दिनेश चन्द्र ने कहा कि आईजीआरएस पर प्राप्त शिकायतों का निस्तारण ससमय गुणवत्तापूर्ण होना चाहिए। अगले माह में जनपद की बेहतर रैंकिंग आए इसके लिए सभी अधिकारी हर संभव प्रयास करें।
उन्होंने सभी विभागीय अधिकारियों से कहा कि जिस स्तर पर शिकायत लंबित है या शिकायतकर्ता असंतुष्ट है, तो उसका कारण जानकर शीघ्र समाधान कराना सुनिश्चित करें। किसी भी स्तर पर लापरवाही पायी जाने पर जवाबदेही तय कर कार्रवाई की जाए। जिला मजिस्ट्रेट ने आईजीआरएस प्रकरणों की समीक्षा करते हुए कहा कि आईजीआरएस शासन की सर्वाेच्च प्राथमिकता में है। इस संबंध में सरकार का रुख भी स्पष्ट है।
शासनादेश में उन सभी बातों का स्पष्ट रूप से जिक्र है कि कैसे-कैसे पूरी पारदर्शिता के साथ समस्याओं, शिकायतों का निराकरण कराया जाना है। उन्होने निर्देश कि जनसुनवाई पोर्टल को प्रतिदिन देखा जाए और ध्यान रखें कि कोई भी सन्दर्भ डिफाल्टर न हो। जन सुनवाई पोर्टल पर प्रकरण डिफाल्टर होता है तो सम्बन्धित अधिकारी के विरुद्ध एकपक्षीय कार्यवाही करते हुये शासन को अवगत करा दिया जायेगा। इस कार्य में किसी भी प्रकार की शिथिलिता क्षम्य नही होगी।
बैठक में अपर जिलाधिकारी प्रशासन डॉ.अर्चना द्विवेदी, मुख्य अभियन्ता एके आत्रेय सहित सभी अधिशासी अभियन्ता, सहायक अभियन्ता एवं अवर अभियन्ता आदि उपस्थित रहे।